2002 की मतदाता सूची गायब, 12 राज्यों में कैसे दर्ज होगे मतदता?

एसआईआर के तहत मतदाता पंजीयन के लिए अन्य राज्यों के नागरिकों के सामने अनेक समस्या

अमरावती/दि.27 – देश के 12 राज्या में 20 नवंबर से मतदाता सूची का विशेष गहन पुनरिक्षण कार्यक्रम (एसआईआर) शुरू हैं. महाराष्ट्र के मतदता अन्य राज्यों में स्थलांतरित हुए तो मतदाता पंजीयन के लिए उन्हें राज्य के वर्ष 2002 की मतदता सूची का मतदाता पहचान पत्र क्रमांक आवश्यक हैं. प्रत्यक्ष मेंं अमरावती, बीड, अकोला, उस्मानाबाद, गढचिरोली, चंद्रपुर समेत अनेक जिलो में संबंधित मतदाता सूची ही उपलब्ध न रहने की जानकारी है.
महाराष्ट्र में वर्ष 2002 के विशेष गहन पुनरिक्षण के तहत तैयार की गई सभी विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र की सूची रिडेबल स्वरूप में तत्काल केंद्रीय चुनाव आयोग तथा मुख्य चुनाव अधिकारी की वेबसाईट पर उपलब्ध करने के आयोग के निर्देश है. अनेक जिलाधिकारी कार्यालय के सामन्य चुनाव शाखा, चुनाव विषयक साहित्य का गोदाम, राजस्व अभिलेखागार व अंग्रेजी अभिलेखागार के अभिलेख कक्ष में विशेष गहन पुनरिक्षण में 3 दिसंबर 2002 को घोषित हुई मतदता सूची व इस सूची की सीढी अधिकांश जिलो में उपलब्ध न रहने की जानकारी है. कायम स्वरूप जतन करना अनिवार्य रही वर्ष 2002 की मतदाता सूची उपलब्ध न होने से इस बाबत कारण, इसके लिए जिम्मेदार अधिकारी व कर्मचारी पर की गई अथवा प्रस्तावित की जानेवाली कार्रवाई तथा प्रस्तावित पर्याय बाबत की रिपोर्ट प्रस्तुत करने बाबत आयोग सभी जिलो को निर्देश हैं.

*तभी सीधे मतदता सूची में होगा नाम शामिल
कुछ मतदाता शादी, व्यवसाय, नौकरी अथवा अन्य काम निमित्त अन्य राज्यों में स्थलांतरित हुए है. उन्हें उस राज्य के मतदाता पंजीयन के लिए महाराष्ट्र के संबंधित विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र के उनके माता-पिता, दादा-दादी का वर्ष 2002 का मतदाता सूची का ई- पीक नंबर आवश्यक है. यह नंबर रहा तो सीधे मतदाता सूची में नाम शामिल होनेवाला हैं.

* 12 सबुत ग्राह्य, लेकिन होगी सुनवाई
संबंधित मतदाता के पास ई-पिक नंबर नहीं रहा तो उन्हें जन्म प्रमाणपत्र, आधार कार्ड, पासपोर्ट, 10 वीं की मार्कलिस्ट, कायमस्वरूप पताबाबत प्रमाणपत्र, निवृत्तिधारक का पहचान पत्र, घर, जमीन बाबत कागजपत्र, वन अधिकार प्रमाणपत्र, परिवार पंजीयन क्रमांक, एनआरसी में नाम आदि कागजपत्र आवश्यक हैं. लेकिन इस कागजपत्र की वैधता बाबत तीन दफा सुनवाई होगी, ऐसी जानकारी हैं.

* मार्गदर्शन मांगा हैं
जिले में वर्ष 2002 की मतदाता सूची उपलब्ध नहीं है. लेकिन नागरिकों को एसआईआर कार्यक्रम के तहत काम पडता रहने से राज्य के मुख्य चुनाव अधिकारी का मार्गदर्शन मांगा हैं.
– शिवाजीराव शिंदे, उपजिला चुनाव अधिकारी, अमरावती

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