साढे 6 माह में जिले में 662 लोगों की आकस्मिक मौत

500 से अधिक घटना आत्महत्या की

अमरावती /दि.22 – अमरावती जिले में 1 जनवरी से 20 जुलाई तक कुल 662 आकस्मिक मृत्यु के मामले दर्ज हुए है. इसमें से 500 से अधिक घटनाएं आत्महत्या की है. 19 जुलाई को दो अलग- अलग घटनाओं में एक महिला समेत दो लोगों ने आत्महत्या कर ली.
चांदूर बाजार तहसील के कुर्‍हा देशमुख ग्राम निवासी मोहन विजयराव आवारे(35) नामक युवक ने गांव के ही एक पेड पर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली. 19 जुलाई की रात 10.30 बजे के दौरान यह घटना घटित हुई उसकी आत्महत्या कारण स्पष्ट नहीं हो पाया है. शिरजगांव कसबा पुलिस ने आकस्मिक घटना दर्ज की है. इसी तरह की एक अन्य घटना वरूड तहसील के डवरगांव निवासी शांताबाई बाजीराव सोनुले (85) नामक वृध्द महिला ने बिमारी से त्रस्त होकर कुएं में कूदकर आत्महत्या कर ली. हर 10 आत्महत्या के पीछे 7 आत्महत्या फांसी लगाकर हुई है. साथ ही जहर गटककर आत्महत्या के मामले बढ रहे है. ट्रेन के सामने कुदकर भी आत्महत्या हो रही है. एक तरफ जिले के कर्ज में डूबे किसनों की आत्महत्या का सिलसिला जारी रहते युवा भी आत्मघाती कदम उठा रहे है. यह चिंता का विषय है. रविवार को एक अभियात्रिकी छात्र ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली. वहीं ससुराल के अत्याचारों से त्रस्त होकर अनेक विवाहिताओं ने आत्महत्या की है.

* ऐसे है कारण
खुद ही अपने हाथों जीवन समाप्त करने का कृत्य यानी आत्महत्या है. जिस समय किसी व्यक्ति को अपना जीवन निरर्थक अथवा मायुस लगने लगे तब उसके दिल में आत्महत्या का विचार आता है. इसके पीछे के अनेक कारण रह सकते है. जीवन में लगातार आनेवाली विफलता, आर्थिक संकट, रिश्तेदारी की परेशानी आदि आत्महत्या के पीछे का कारण रहने की संभावना हो सकती है. मानसिक बिमारी के कारण भी आत्महत्या होती है.

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