सिलेंडर पुरता नहीं, घासलेट मिलता नहीं
आखिर कैसे पकाया जाये दो वक्त का भोजन

अमरावती/दि.19- इस समय महंगाई का संकट दिनोंदिन गहराता जा रहा है और इसका असर सर्वसामान्य नागरिकों को सहन करना पड रहा है. किसी समय 300 रूपये में मिलनेवाले घरेलू गैस सिलेंडर के लिए अब 1 हजार रूपये से अधिक की रकम अदा करनी पडती है. वहीं दूसरी ओर राशन में रॉकेल यानी घासलेट मिलना भी बंद हो गया है. यानी पैसों के लिहाज से सिलेंडर पुरता नहीं है और रॉकेल मिलता नहीं है. ऐसे में दो वक्त का भोजन पकाने हेतु चूल्हा कैसे जलाया जाये, यह इस समय का सबसे बडा सवाल है.
* सब्सिडी है बंद
इससे पहले केंद्र सरकार द्वारा घरेलू कनेक्शन धारक गैस ग्राहकों को सब्सिडी की दरों पर घरेलू गैस सिलेंडर उपलब्ध कराये जाते थे. पश्चात डीबीटी योजना के तहत ग्राहकों से गैस सिलेंडर की पूरी कीमत लेते हुए उनकी सब्सिडी की रकम को उनके बैंक खातों में जमा कराया जाने लगा. पश्चात धीरे-धीरे बैंक खातों में भेजी जानेवाली सब्सिडी की रकम को घटाते हुए अब सब्सिडी देना ही बंद कर दिया गया है. यानी अब उपभोक्ताओं को पूरी कीमत अदा करते हुए घरेलू गैस सिलेंडर खरीदना पड रहा है.
* * 960 रूपयों पर पहुंचा घरेलू गैस सिलेंडर
जनवरी 2021 में घरेलू गैस सिलेंडर के दाम 699 रूपये थे, जो अब बढकर 960 रूपये हो गये है. इसी तरह इस दौरान व्यवसायिक यानी कमर्शियल गैस सिलेंडर के दाम 1,348 रूपयों से बढकर 2,010 रूपयों पर जा पहुंचे है.
* राशन से रॉकेल गायब
किसी समय सरकारी राशन दुकानों से सर्वसामान्य परिवारवाले राशनकार्ड धारकों को परिवार की सदस्य संख्या के अनुसार सस्ती दरों पर रॉकेल मिला करता था, जो स्टोव्ह तथा चूल्हा जलाने के काम आता था. किंतु अब सरकार ने नई नीति के तहत राशन दुकानों से रॉकेल की बिक्री करनी बंद कर दी है. ऐसे में अब रॉकेल जलाना तो दूर, देखने के लिए भी मिलना मुश्किल है. ऐसे में कमजोर आर्थिक स्थिति से वास्ता रखनेवाले परिवारों के सामने सबसे बडा सवाल यही है कि, वे महंगा सिलेंडर खरीदने के लिए पैसा कहां से लायें और उनके पास उपलब्ध पैसों से रॉकेल कहां से खरीदें.





