मनपा व जिप की सदस्य संख्या को लेकर संभ्रम व उत्सुकता

सन 2011 की जनसंख्या को आधार मानकर होंगे चुनाव

* निर्वाचन आयोग ने मांगी जनसंख्या की जानकारी
* राज्य सरकार द्वारा सीटों को लेकर लिया जाएगा निर्णय
अमरावती/दि.19 – सुप्रीम कोर्ट द्वारा आगामी 4 माह के भीतर स्थानीय स्वायत्त संस्थाओं के चुनाव करवाने का निर्देश दिया गया है. परंतु अब तक यह तय नहीं हो पाया है कि, महानगर पालिका के चुनाव में प्रभाग रचना कैसी रहेगी और जिला परिषद में कितनी सीटों के लिए चुनाव करवाया जाएगा. जिसके चलते मनपा की प्रभाग रचना और जिला परिषद की सदस्य संख्या को लेकर संभ्रम रहने के साथ ही उत्सुकता वाला माहौल है. ज्ञात रहे कि, वर्ष 2011 में अंतिम बार जनगणना की गई थी और वर्ष 2021 में प्रस्तावित रहनेवाली जनगणना कोविड संक्रमन काल एवं लॉकडाऊन के चलते नहीं हो पाई थी. ऐसे में अब स्थानीय स्वायत्त निकायों के चुनाव हेतु सन 2011 की जनसंख्या को आधार माना जा रहा है. साथ ही साथ विगत 15 वर्षों के दौरान जनसंख्या में हुई अंदाजन वृद्धि के आंकडों को भी संकलित किया जा रहा है. इसकी जानकारी राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा मांगी गई है और इस जानकारी के आधार पर ही राज्य सरकार द्वारा सीटों को लेकर अंतिम निर्णय लिया जाएगा.
* अमरावती मनपा में तीन अथवा चार सदस्यीय रह सकती है प्रभाग रचना
बता दें कि, अमरावती महानगर पालिका की सदस्य संख्या 87 है. जिसे तीन सदस्यीय प्रभाग रचना में विभाजित किया जाता है या फिर सन 2017 के चुनाव अनुसार चार सदस्यीय प्रभाग रचना तय की जाती है यह अभी स्पष्ट नहीं है. यदि अमरावती मनपा में चार सदस्यीय प्रभाग रचना की जाती है तो कुल 22 प्रभाग रहेंगे. जिसमें जनसंख्या की दृष्टि से सबसे छोटा रहनेवाला प्रभाग तीन सदस्यों का रहेगा. वहीं तीन सदस्यीय प्रभाग रचना को अमल में लाने पर अमरावती मनपा क्षेत्र में 29 प्रभाग अस्तित्व में आएंगे. इसके अलावा यदि सन 2017 के मुताबिक ही चुनाव होते है तो ओबीसी संवर्ग के लिए 23 सीटें आरक्षित होंगी. ज्ञात रहे कि, इससे पहले राज्य की महाविकास आघाडी सरकार ने तीन सदस्यीय प्रणाली के अनुसार मनपा के चुनाव करवाने की बात तय की थी. जिसके अनुसार प्रभाग रचना भी तैयार कर ली गई थी. परंतु कुछ तकनीकी दिक्कतों के चलते चुनाव आगे ढकेल दिए गए. वहीं इसके बाद अस्तित्व में आई महायुति सरकार ने पिछली सरकार के निर्णय को पलटते हुए मनपा चुनाव चार सदस्यीय प्रभाग पद्धति के मुताबिक कराने का निर्णय लिया. जिसके लिए तैयारियां भी शुरु हो गई. परंतु इसी दौरान ओबीसी आरक्षण का मुद्दा सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया और तब से स्थानीय निकायों का मामला अधर में लटका पडा है.
* जिप में 59 या 66 सीटों को लेकर संभ्रम
आगामी समय में होनेवाले जिला परिषद के चुनाव 59 सीटों के लिए होंगे या फिर जिला परिषद में 66 सीटे होंगी, इसका फैसला भी जल्द ही हो जाएगा. इसके लिए ग्रामविकास विभाग ने पंचायत समितिनिहाय तहसील क्षेत्रों की जनसंख्या की जानकारी मंगवाई है और इसी जानकारी के आधार पर राज्य सरकार द्वारा जिला परिषद की सीटों को लेकर अंतिम निर्णय लिया जाएगा. ज्ञात रहे कि, सर्वोच्च न्यायालय के आदेशानुसार वर्ष 2017 में आरक्षण की जो स्थिति थी, उसी सूत्र के अनुसार चुनाव करवाने है. परंतु यह अभी तय नहीं है कि, कितनी सीटों के लिए चुनाव करवाया जाएगा. जिला परिषद में वर्ष 2017 में कुल 59 सीटों के लिए चुनाव करवाया गया था और उन सदस्यों का कार्यकाल खत्म होने से पहले ही औसत वृद्धि को ग्राह्य मानते हुए निर्वाचन क्षेत्रों की पुनर्रचना की गई. जिसके तहत अमरावती जिला परिषद में 7 निर्वाचन क्षेत्र बढ गए और कुल सदस्य संख्या 66 करने का निर्णय लिया गया. परंतु इस दौरान राज्य में हुए सत्तांतर के चलते अब इस बात को लेकर संभ्रम देखा जा रहा है कि, जिला परिषद ने पुरानी सदस्य संख्या को कायम रखा जाता है या फिर नई सदस्य संख्या को अमल में लाया जाता. लगभग यही स्थिति पंचायत समितियों, नगर पालिकाओं व नगर पंचायतों की भी है. जहां पर आगामी चार माह के भीतर चुनाव करवाए जाने है.

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