जिले में नहीं खुलेगी 500 शालाएं
परसों एक ओर प्रवेशोत्सव, दूसरी ओर शाला बंद !

* जिला शिक्षण संस्था संघ के करडे का दावा
अमरावती/ दि. 21– अमरावती जिला शिक्षण संस्था संघ ने शालाओं का बकाया अनुदान, बकाया भवन किराया और शिक्षकेत्तर कर्मचारी पदभर्ती तत्काल अनुमति देने की मांग को लेकर नये शिक्षा सत्र के पहले ही दिन अर्थात परसों सोमवार 23 जून को शाला बंद आंदोलन की चेतावनी दी है. उस दिन जिले की 500 निजी शालाएं बंद रहने का दावा संघ के पदाधिकारी मेघश्याम करडे ने आज दोपहर अमरावती मंडल से बातचीत में दी. उन्होंने बताया कि सभी शिक्षा संस्थाओं को संपत्ति कर में छूट देने, शिक्षा अधिकार कानून के अनुसार शालाओें को स्थायी मान्यता देने एवं सौर उर्जा निर्मिति के लिए अनुदान देने की मांग भी संस्था संघ ने उठाई है. ,
संस्था संघ में शिवाजी शिक्षा संस्था के अध्यक्ष हर्षवर्धन देशमुख, शिक्षा संस्था के उपाध्यक्ष राजाभाउ देशमुख, सचिव मेघश्याम करडे, कोषाध्यक्ष महेन्द्र सिंह सोमवंशी, सहसचिव सुशील इखनकर, सदस्य रामकृष्ण कलसकर, जगणदादा हरणे, राजेश टारपे, श्रीपाद तारे, मुख्याध्यापक संघ के अध्यक्ष प्रवीण दिवे, सचिव प्रदीप नानोटे, संदीप रक्षित, गजा मानकर, शिक्षकेत्तर संगठन के केशव पाटिल, राजकुमार चेनानी, मनोज जैन, विश्वनाथ सदांशिवे, प्रवीण पेटकर, बाबाराव जी जगताप, विनोद तिरमारे, संदीप देशमुख, विलासराव गोंगे, सुभाषराव गीते, शेख सफी, सुधीर शेंडे, प्रमोद हटवार, एस. आर. अढाउ, योगेश उमक, रवीन्द्र वासनकर, प्रकाशराव भोजने, विकासराव ठाकरे, अजय गाडबैल, स्वाति चौधरी, सुरेंद्र पोपली, गिरीश अरोरा, विश्वास जाधव, रमेश पाखरे, सुदेश पाटिल, शीतल काले, वर्षा राणे, पूनम पवार, भारत शहारे, प्रदीप उंबरकर, आशीष किन्हीकर, चेतन माहुलकर, मारूति मरसकोल्हे आदि का समावेश हैं. उल्लेखनीय है कि प्रशासन परसों सोमवार 23 जून को नये सत्र के पहले दिन प्रवेशोत्सव की तैयारी कर रहा है. ऐसे में संस्था संघ के आंदोलन से प्रवेशोत्सव को पलीता लग सकता है.
* 15 मार्च का वह जीआर रद्द करें
संस्था संघ सचिव मेघश्याम करडे ने दावा किया कि 15 मार्च 2024 के जीआर ने सब गडबडी कर रखी है. इस जीआर से गलत संच मान्यता रहेगी. पद भर्ती करना आवश्यक रहने पर भी शासन ने रोक लगा रखी र्है. उन्होंने दावा किया कि टीचर्स ही नहीं है तो शालाओं में पढाई होगी कैसे ? उन्होंने यह भी प्रश्न उठाया कि सरकार की 20 से कम विद्यार्थियों की शाला बंद करने की नीति से अकेले अमरावती में 2 हजार शिक्षक अतिरिक्त हो जायेंगे. उसी प्रकार जिला परिषद और पालिका की शालाओं पर भी ताले लगाने की नौबत आयेगी. करडे ने दावा किया कि सरकार का निर्णय उसी की नई शिक्षा नीति एनईपी को खतरे में डालने वाला है. उन्होंने बताया कि परसों सोमवार को सभी तहसील स्तरों पर शासन को पुन: निवेदन दिया जायेगा.





