मेलघाट व्याघ्र प्रकल्प की सफारी एक माह के लिए बंद

परतवाड़ा/ दि.5– मेलघाट व्याघ्र प्रकल्पअंतर्गत 1 जुलाई से 1 अक्तुबर के दौरान हाथी सफारी सहित जिप्सी सफारी बंद रखी गई है. व्याघ्र प्रकल्पअंतर्गत प्रत्येक वन्यजीव विभाग में पर्यटन क्षेत्र (टुरिझम झोन) विकसीत किया गया है. टुरिझम झोन अंतर्गत पर्यटकों को सफारी की सुविधा उपलब्ध कराई जाती है. बाघों के साथ-साथ वन्यजीवों का दर्शन टुरिझम झोन में ही पर्यटकों को करने का अवसर प्राप्त होता है. यहां मेलघाट के टुरिझम झोन में पर्यटकों को होता वन्यजीवों का दर्शन पेहरावा, गहने, खानपान, परंपरागत वाद्य, संस्कृति, सहित वन्यजीवों, वनस्पती और मेलघाट के प्राकृतिक संसाधन की पहचान करा आदिवासियों की संस्कृति, सामाजिक रितिरिवाज, वसाहत, देने वाले साहित्य व छायाचित्र जानकारी के साथ संग्रहालय उपलब्ध है. वन्यजीवों के ट्र ाफि इस संग्रहालय में थी. परंतु आज यह सारा साहित्य निसर्गनिर्वचन संकुल के संग्रहालय से लापता हो गया है. सेमाडोह क्षेत्रअंतर्गत कोलकास के हाथी की सफारी का आनंद भी अब पर्यटकों को नहीं मिलेगा. मेलघाट व्याघ्रप्रकल्पअंतर्गत कोलकास की हाथी सफारी यह मध्य भारत की पहली हाथी सफारी है. यह हाथी सफारी, राजस्थान, गुजरात सहित अन्य राज्यों के पर्यटकों सहित स्वदेशी, विदेशी पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र है. बरहाल अब अगले आदेश तक मेलघाट व्याघ्र प्रकल्प की जंगल सफारी एक माह तक बंद रहेगी. बारिश के मौसम में जंगल सफारी के आनंद से अब अनेक पर्यटक वंचित रहेंगे.

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