जिला परिषद शालाओं में ‘अलेक्सा रोबो’
सीईओ मोहपात्रा की सोच

* बैंक के सीएसआर फंड से 50 शालाओं में होगी व्यवस्था
अमरावती/दि.12 – जिला परिषद की मुख्य कार्यकारी अधिकारी संजीता मोहपात्रा की सोच के कारण वहां की सामान्य शालाओं की तस्वीर और सीरत बदल रही है. अनेक प्राइवेट शालाओं में भी जो सुविधाएं उपलब्ध नहीं, ऐसी सुविधाएं जिला परिषद की शालाओं में सामान्य घरों के बच्चों को उपलब्ध करवाई जा रही है. इसी कडी में ‘अलेक्सा रोबो’ उपलब्ध करवाया गया है. अगले कुछ दिनों में जिले की 50 चुनिंदा झेडपी शालाओं में ‘अलेक्सा रोबो’ बोलती मशीन उपलब्ध हो जाने की जानकारी स्वयं संजीता मोहपात्रा ने दी.
* बच्चों का बढेगा रुझान
संजीता मोहपात्रा ने कहा कि, विज्ञान और तकनीक के प्रति गांवों के सामान्य घरों के विद्यार्थियों का रुझान बढाना आवश्यक है. उनके मन का डर दूर करना भी जरुरी है. ऐसे में बोलती मशीन अलेक्सा का विचार सामने आया और कृत्रिम बुद्धिमत्ता आधारित यह रोबो उपलब्ध किया गया है. इसके लिए आईसीआईसीआई बैंक ने सीएसआर फंड उपलब्ध करवाने की जानकारी मिनी मंत्रालय ने दी है.
* दाभा की शाला में प्रारंभ
नांदगांव खंडेश्वर तहसील अंतर्गत बडनेरा के पास स्थित ग्राम दाभा की जिला परिषद शाला में गुरुवार से अलेक्सा रोबो कार्यरत हो गया. बोलती मशीन अलेक्सा ने विद्यार्थियों के प्रश्नों के उत्तर दिए. वह अनेक भाषा में संवाद में सक्षम है. अंग्रेजी सहित अन्य भाषाओं के संभाषण कौशल्य बढाने में उसका उपयोग होने का विश्वास सीईओ संजीता मोहपात्रा ने व्यक्त किया.
* उच्चारण सुधरेंगे, बढेगा ज्ञान
जिला परिषद की पांच शालाओं को अलेक्सा रोबो उपलब्ध करवाया गया है. अधिकारियों ने बताया कि, मालूर, दहेंद्री, चांदसूरा, वाठोडा बु. और पिंपलखुटा बडा इन ग्रामों की झेडपी शालाओं में अलेक्सा लगा दी गई है. इससे गांव-देहात के विद्यार्थियों के अपनी मातृभाषा के अलावा अन्य भाषाओं में रुझान होने पर उनके उच्चारण और ज्ञान में निश्चित ही बढोतरी होगी. अलेक्सा के कारण विद्यार्थियों का सामान्य ज्ञान भी बढेगा, मजेदार क्विझ के कारण विद्यार्थियों के पढने में रुचि बढेगी. कल्पनाशक्ति को बढावा देने अलेक्सा स्टोरी भी सुनाती है, निश्चित ही विद्यार्थियों को अलेक्सा से संवाद करते समय कब उनकी पढाई और अभ्यास हो गया, इसका आभास भी न होगा. खेलते-खेलते और मजेदार अंदाज में वे पढाई कर लेंगे.
* शालाओं ने किया बेहतर
जिला परिषद की शालाओं का चयन उनके बेहतर प्रदर्शन के आधार पर किए जाने की जानकारी अधिकारियों ने दी और बताया कि, चांदसूरा, फॉरेस्ट मालूर, दहेंद्री, वाठोड बु. तथा पिंपलखुटा का चयन निपुण भारत अभियान अंतर्गत प्रदर्शन के आधार पर किया गया है. इसके अलावा 45 अन्य झेडपी शालाओं में भी अलेक्सा शीघ्र नन्हें-मुन्ने बच्चों से संवाद और मसखरी करती नजर आएगी. जिला परिषद ने फंड का इंतजाम कर लिया है.





