मेरे कलेजे का टुकडा गया कहां ?
10 माह में 179 युवतियों का अपहरण, 158 मिली

अमरावती/ दि. 14 – सोशल मीडिया के अधिक इस्तेमाल से नाबालिग युवतियों का घर से भागने का प्रमाण हाल में काफी बढ गया है. उन्हें शादी का प्रलोभन देकर बहला फूसला कर भगाया जाता है. वहीं दूसरी तरफ अपने कलेजे के टुकडे को खोजने के लिए परिवार के सदस्य भागदौड करते रहते है. इस वर्ष 10 माह में 179 युवतियों का अपहरण हुआ है. इनमें से 158 युवतियां मिली है. जबकि 21 युवतियों की तलाश जारी है.
* अक्तूबर माह तक कुल 203 मामले
जनवरी से अक्तूबर 2025 के दौरान 179 युवती तथा 24 लडके ऐसे कुल 203 अपहरण के मामले दर्ज हुए है. इसमें से 158 युवती और 23 युवक मिले है. जबकि 21 युवती और एक युवक का अब तक पता नहीं चल पाया है.
अवैध मानव तस्करी प्रतिबंधक सेल कार्यरत
नाबालिग युवक-युवतियों की तलाश करने के लिए जिला ग्रामीण मुख्यालय में अवैध मानव तस्करी प्रतिबंधक से कार्यरत है. सहायक पुलिस निरीक्षक के पास इस सेल की जिम्मेदारी दी गई है. युवक-युवतियों की तलाश में पुलिस को परप्रांतों में भी जाना पडता है. अधिकांश प्रकरणों में युवतियां मिल जाती है. लेकिन तब तक उन्होंने विवाह किया रहता है. पश्चात अपहरण के मामले में अत्याचार की धारा जोडी जाती है.
2024 में 211 युवक- युवती लापता
जिले के ग्रामीण क्षेत्र से गत वर्ष कुल 211 नाबालिग युवक-युवतियों को अगवा किया गया था. इसमें से 95 प्रतिशत युवतियों की तलाश कर उन्हें पालकों के हवाले किया गया था. जबकि अपहृत युवकों की भी खोज सफल रही.
इस वर्ष 89 प्रतिशत मामले उजागर
जनवरी से अक्तूबर इस 10 माह में 18 वर्ष से कम युवक- युवतियों के अपहरण बाबत कुल 203 मामले दर्ज हुए है. इसमें से 89 प्रतिशत मामले उजागर हुए. अधिकांश मामले प्रेम प्रकरण से संबंधित है.
– किरण वानखडे,
निरीक्षक, अनैतिक मानव तस्करी प्रतिबंधक कक्ष





