अब से बच्चे मजबूत बनेंगे, विद्यालय में ‘मानसिक चिकित्सक’ होगा नियुक्त
सरकार ने छात्रों के मानसिक तनाव को कम करने उठाए कदम

अमरावती/दि.17 – अध्ययन एवं अन्य कारणों से राज्य सरकार ने सर्वोच्च न्यायालय के आदेशानुसार छात्रों पर विभिन्न कारणों से उत्पन्न मानसिक तनाव को कम करने के लिए एक ऐतिहासिक कदम उठाया है. अब राज्य के प्रत्येक विद्यालय में छात्रों की काउंसलिंग के लिए मनोचिकित्सक नियुक्त किए जाएंगे. कक्षा नौवीं से बारहवीं तक के छात्रों को विशेष मार्गदर्शन प्रदान किया जाएगा.
पढ़ाई के बढ़ते तनाव, अंकों की होड़ और अन्य कारणों से छात्रों के मानसिक स्वास्थ्य पर पड़ने वाले प्रभाव को देखते हुए, राज्य सरकार ने सर्वोच्च न्यायालय के आदेशानुसार एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है. इसके तहत, प्रत्येक विद्यालय छात्रों की काउंसलिंग के लिए मनोचिकित्सक की सहायता लेगा. कक्षा नौवीं से बारहवीं तक के छात्रों के लिए विशेष रूप से मार्गदर्शन और परामर्श प्रणाली उपलब्ध कराई जाएगी. यह निर्णय जिले के विद्यालयों में छात्रों के बीच तनाव, अवसाद, भय और आत्मविश्वास की कमी को कम करने में सहायक होगा.
* विकास हासिल होगा
छात्रों को शैक्षणिक और मानसिक तनाव का सामना करना पड़ रहा है. विद्यालय में परामर्श और तनाव निवारण संबंधी मार्गदर्शन से उन्हें विकास करने में मदद मिलेगी.
* अचेतन उम्र का तनाव
आजकल माता-पिता अपने बच्चों पर बहुत ज़िम्मेदारी डाल रहे हैं. विभिन्न प्रतिस्पर्धाओं, अपेक्षाओं और पढ़ाई के बोझ के कारण कम उम्र में ही छात्रों में मानसिक तनाव बढ़ रहा है. इसलिए, यह पहल इस समस्या से निपटने के लिए एक राहत भरी पहल है.
* तनाव मुक्ति प्रशिक्षण
छात्रों के मानसिक तनाव को कम करने के लिए विद्यालयों में विशेष तनाव निवारण प्रशिक्षण और परामर्श सत्र आयोजित किए जाएंगे. इस पहल के माध्यम से छात्रों को आत्मविश्वास बढ़ाने, भय और अवसाद को दूर करने और मानसिक स्वास्थ्य में सुधार लाने के लिए मार्गदर्शन दिया जाएगा.
* विशेषज्ञों की नियुक्ति की जायेगी
अदालत के आदेशानुसार, जिले के माध्यमिक विद्यालयों में परामर्श के लिए विशेषज्ञों की नियुक्ति की जाएगी.
* 9 सदस्यीय समिति
स्कूलों में मानसिक स्वास्थ्य की कार्यान्वयन के लिए विशेषज्ञों और शिक्षा अधिकारियों सहित 9 सदस्यीय समिति का गठन किया गया था.
* बच्चों को मार्गदर्शन मिलेगा
कक्षा 9 से 12 तक के महत्वपूर्ण शैक्षणिक चरणों के दौरान छात्रों को विशेषज्ञों से मार्गदर्शन प्राप्त होगा.
* प्रतिस्पर्धा छीन लेती हैं छात्रों का बचपन
विशेषज्ञ इस बात पर चिंता व्यक्त कर रहे हैं कि पाठ्येतर गतिविधियों का तनाव और ग्रेड के लिए प्रतिस्पर्धा छात्रों के बचपन को बर्बाद कर रही है और बच्चों को खेल, आनंद और मानसिक संतुष्टि से दूर कर रही है.
* हेल्पलाइन नंबर भी दिया जाएगा
परामर्श और सहायता के लिए हेल्पलाइन नंबर पाठ्यपुस्तकों में मुद्रित किए जाएंगे ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि छात्रों को मानसिक संकट के समय तत्काल सहायता मिल सके.
* शिक्षकों के लिए प्रशिक्षण
छात्रों को परामर्श देने में सक्षम होने के लिए शिक्षकों को विशेषज्ञों द्वारा विशेष प्रशिक्षण भी दिया जाएगा.





