13 माह की बच्ची की हत्या कर मां ने किया आत्महत्या का प्रयास
बेटी को गला दबाकर मारने के बाद अपने हाथ की नसें काटी
* अकोला के एमआयडीसी थाना अंतर्गत बाभुलगांव की घटना
* घरेलू कलह के चलते हुई वारदात, क्षेत्र में सनसनी
अकोला/दि.22– किसी भी घर-परिवार में सास और बहू के बीच अक्सर ही मामूली बातों को लेकर अनबन होना बेहद आम बात है, लेकिन यही विवाद कभी कभार उग्र रूप धारण कर लेता है. कुछ ऐसा ही मामला एमआईडीसी पुलिस थाना क्षेत्रअंतर्गत आने वाले बाभुलगांव में उजागर हुआ. जहां पर सास से हुए झगडे के बाद गुस्से में आकर प्रियंका उमेश बोबड़े नामक महिला ने अपनी 13 माह की दूधमुंही बच्ची अधिरा बोबडे का गला दबाकर हत्या करने के पश्चात स्वयं हाथ की नस काटकर आत्महत्या का प्रयास किया. यह बात ध्यान में आते ही परिजनों द्वारा तत्काल ही दोनों को अस्पताल ले जाया गया. जहां पर डॉक्टरों ने 13 माह की बच्ची को मृत घोषित कर दिया, वहीं जबकि गंभीर रूप से घायल महिला को उपचार के लिए आईसीयू में रखा गया है. इस मामले में पुलिस ने पति की शिकायत पर आरोपी मां के खिलाफ धारा 302, 309 के तहत अपराध दर्ज कर जांच आरंभ कर दी.
इस संदर्भ में मिली जानकारी के मुताबिक एमआईडीसी पुलिस थाने अंतर्गत बाभुलगांव निवासी तथा बोरगांव मंजू पुलिस थाने में सिपाही के पद पर कार्यरत उमेश देवीदास बोबडे (31) ने थाने पहुंचकर शिकायत दर्ज करायी कि वे नाईट ड्यूटी खत्म कर सुबह 10 बजे घर पहुंचे और चाय पीकर वे सोने चले गए. तकरीबन सुबह 11.30 बजे के दौरान उन्हें उनकी मां ने जगाकर कहा कि उनकी पत्नी प्रियंका ने शौचालय का दरवाजा भीतर से बंद कर रखा है तथा वह आवाज देने पर कोई जवाब नहीं दे रही है. प्रियंका के साथ शौचालय के भीतर 13 माह की बच्ची अधिरा भी है. यह पता चलते ही किसी अनहोनी की कल्पना करते हुए उमेश बोबडे ने शौचालय का दरवाजा तोडा, जहां पर उन्हें 13 माह की बेटी तथा पत्नी बेहोश दिखाई दिए. इस समय पत्नी के हाथ की नस कटी हुई थी और वहां से खून बह रहा था. साथ ही बेटी के शरीर में कोई हलचल नहीं थी. जिसके चलते दोनोें को तुरंत अस्पताल ले जाया गया. लेकिन प्राथमिक जांच के बाद डॉक्टरों ने 13 माह की अधिरा को मृत घोषित कर दिया. वहीं प्रियंका का इलाज शुरू किया गया.
पता चला है कि, प्रियंका का अपनी सास के साथ किसी घरेलु बात को लेकर विवाद हो गया था. इस बात से गुस्साई प्रियंका ने बेटी की हत्या कर स्वयं आत्महत्या का प्रयास किया. यहां यह उल्लेखनीय है कि, प्रियंका व उमेश बोबडे को 13 माह की बेटी अधीरा के साथ ही 4 साल का बेटा प्रियांश भी है. इस घटना के समय प्रियांश खेलने के लिए बाहर गया हुआ था, जिससे उसकी जान बच गई. लेकिन महज 13 माह की दुधमूंही बच्ची अधीरा अपनी मां के साथ थी, जिसका प्रियंका ने अपनी ओढनी के जरिये गला घोट दिया. पश्चात अपने हाथों की कलाई पर किसी धारदार वस्तु से प्रहार करते हुए हाथ की नस काट ली थी. इस समय बहुत अधिक खून बह जाने की वजह से प्रियंका बेहोश हो गयी. जिस पर इस वक्त अस्पताल में इलाज जारी है. एमआईडीसी पुलिस थाने के पुलिस निरीक्षक किशोर वानखडे मामले की जांच कर रहे हैं.
* तीन वर्ष बाद घटना की पुनरावृत्ती
बाभुलगांव में घटी इस विचित्र घटना की तरह ही डाबकी रोड पुलिस थाने के अंतर्गत आने वाले गोरोबा नगर में वर्ष 2018-19 में एक घटना घटीत हुई थी, जब मानसिक रुप से बीमार मां ने अपनी बेटी को पानी डुबोकर मार डाला था और फिर खुद फांसी लगाकर आत्महत्या का प्रयास किया था. किंतु रस्सी टूट जाने के कारण स्वयं पर मिट्टी का तेल डालकर आग लगा ली थी. उस वारदात के समय भी दूसरा बच्चा घर के आंगन में खेल रहा था, जिसकी जान सौभाग्य से बच गई थी. ठीक इसी तरह की दूसरी वारदात तीन से चार साल बाद बाभुलगांव में सोमवार को घटी.