अमरावती/प्रतिनिधि दि.१४ – संत गाडगेबाबा अमरावती विद्यापीठ में विविध समितियां व प्राधिकरण को किसी भी प्रकार की भनक न लगते हुए करीबन 10 करोड़ का देयक मंजूर किया गया. ऐसा आरोप विद्यापीठ के पूर्व सिनेट सदस्य प्रा. दिनेश सूर्यवंशी ने किया है.
संत गाडगेबाबा अमरावती विद्यापीठ के प्रमुख अधिकारियों ने विद्यापीठ को व उनकी समितियों व प्राधिकरण को भनक न लगते हुए ठेकेदारों को तकरीबन 10 करोड़ का देयक बाकायदा मंजूर किया है. इसमें संबंधितों का कमिशन कितना है, ऐसा सीधा सवाल दिनेश सूर्यवंशी ने उपस्थित किया है. उनके आरोप का रुख कुलगुरु मुरलीधर चांदेकर व प्र-कुलगुरु डॉ. राजेश जयपुरकर की तरफ है. सखोल जांच के बाद यह आंकड़ा बढ़ने की संभावना प्रा. सूर्यवंशी ने व्यक्त की. उन्होंने विद्यापीठ के प्रमुख अधिकारियों के विरोध में भरपूर सबूत अपने पास होने की बात कही है. लाखों रुपए के टेंडर भ्रष्टाचार के कारण संत गाडगेबाबा अमरावती विद्यापीठ का करोड़ो रुपए का नुकसान हुआ है. अपनी मर्जी की कंपनी को ठेका देने के लिये रातभर में नियम व शर्त बदली गई वहीं काम अधूरा रहने पर भी बाकायदा कंपनी का लाखों रुपयों का देयक निकाले जाने का आरोप प्रा. सूर्यवंशी ने किया है.
विद्यापीठ के भ्रष्ट अधिकारियों को सबक सिखाने का आवाहन प्रा. सूर्यवंशी ने किया है. सर्वसामान्य जनता की मेहनत, किसान आत्महत्या वाले परिवार के विद्यार्थियों के पालक अपने पसीने व गरीब जनता ने खून जलाकर अपने बच्चों को महाविद्यालयीन शिक्षा के लिये विद्यापीठ में जमा किये गये पैसों का गैर इस्तेमाल होकर अब जनता ही इसका हिसाब मांगेगी, ऐसा प्रा. सूर्यवंशी ने कहा.