मेलघाट में साढे पांच साल में 1064 बालमृत्यु
कुपोषण को रोकने के लिए विविध योजना फिर भी शासन को सफलता नहीं

अमरावती /दि. 26– मेलघाट में कुपोषण और बालमृत्यु का प्रमाण रोकने के लिए राज्य शासन की तरफ से विविध योजना चलाई जा रही है. लेकिन इस योजना से मेलघाट की बालमृत्यु रोकने में शासकीय यंत्रणा को अभी भी सफलता नहीं मिली है. बालमृत्यु और माता मृत्यु अभी भी जारी है. अप्रैल 2019 से सितंबर 2024 तक ऐसे साढे पांच साल में मेलघाट में 1064 बालकों की मृत्यु होने की बात स्वास्थ विभाग ने दर्ज की है. साथ ही 32 माता मृत्यु भी दर्ज की गई है.
शासन की तरफ से मेलघाट में बालमृत्यु रोकने के लिए करोडों रुपए खर्च किया जाता है. इसमें सामाजिक संस्था के माध्यम से भी कुपोषण रोकने के लिए प्रयास किए जा रहे है. लेकिन फिर भी मेलघाट की बालमृत्यु का सिलसिला रुका नहीं है. आज भी मेलघाट के नागरिकों को स्वास्थ की अधूरी सुविधा मिलने से अनेक गंभीर बालकों को अमरावती के जिला महिला अस्पताल में रेफर करना पडता है. यह प्रमाण काफी अधिक है. मेलघाट की स्वास्थ व्यवस्था सुधारने का हर बार आश्वासन मिलता है. लेकिन प्रत्यक्ष में उपाययोजना चलाई नहीं जाती ऐसा सामाजिक संगठना का कहना है.
* धारणी तहसील में सर्वाधिक बालमृत्यु दर्ज
मेलघाट के धारणी तहसील में उपजिला अस्पताल है. जबकि चुरणी और चिखलदरा में ग्रामीण अस्पताल है तथा मेलघाट की बालमृत्यु रोकने के लिए धारणी उपजिला अस्पताल में विशेष कक्ष की स्थापना की गई है. स्वास्थ यंत्रणा के मुताबिक अप्रैल 2019 से सितंबर 2024 में दर्ज हुई बालमृत्यु में सर्वाधिक 719 मृत्यु यह धारणी तहसील में है. जबकि चिखलदरा तहसील में 345 बालमृत्यु दर्ज है.
* बालमृत्यु रोकने के लिए ऐसी है स्वास्थ यंत्रणा
मेलघाट में धारणी और चिखलदरा ऐसी दो तहसीले है तथा यहां की आबादी 3 लाख 24 हजार है. यहां पर एक उपजिला अस्पताल, दो ग्रामीण अस्पताल, 11 प्राथमिक स्वास्थ केंद्र, प्राथमिक स्वास्थ पथक 1, अॅलोपैथिक 1 तथा आयुर्वेदिक 4 दवाखाने, स्वास्थ उडनदस्ते 7, उपकेंद्र 92, एंबुलेंस 102 क्रमांक 34 और 108 क्रमांक 9 के साथ 22 उडनदस्ते है. यह 24 घंटे कार्यरत रहते है.
* मेलघाट में वर्षनिहाय बालमृत्यु के आंकडे
वर्ष धारणी चिखलदरा
2019-20 178 68
2020-21 134 70
2021-22 120 75
2022-23 125 50
2023-24 103 53
2024-सितंबर तक 50 29
कुल 719 345