अमरावतीमहाराष्ट्र

कार्रवाई के डर से एक ही रात में गायब हो गए 200 रेत के ढेर?

जीपीएस प्रणाली व कैमरे बने शोपीस

* अवैध रेत खनन का मीडिया ने किया पर्दाफाश
* जिला प्रशासन की खुली नींद
धामणगांव रेलवेे/दि.06 धामनगांव रेलवे सरकारी रेत डिपो संबंध में खबरें प्रकाशित होने के बाद जिला प्रशासन की नींद खुली. प्रशासन की कार्रवाई की डर से धामणगांव रेलवे तहसील के सरकारी रेत डिपो में रखा सैकडों ब्रास रेत स्टॉक एक ही रात से गायब होने से सवाल उठ रहे है. इसी बीच, लगातार खबरे प्रकाशित होने के बाद मिट्टी और पत्थर मिश्रित रेत का भंडारण भी रेत माफियों ने रातोंरात गायब करने से प्रशासन द्वारा होने वाली कार्रवाई की खबर लगने से भागमभाग शुरु होने की चर्चा तहसील में हो रही है. अपनी कर्तव्यतत्परता का ढोल पीटने वाले तहसील राजस्व प्रशासन के जीपीएस और कैमरा नियंत्रण के कक्ष को यह बात निदर्शन क्यों नहीं आई? और यदि आई भी होगी तो प्रशासन क्या कार्रवाई करेगा? यह सवाल खडा हो गया है.

तहसील के सरकारी रेत डिपो संदर्भ में सभी मीडिया ने पर्दाफाश करते ही जिला प्रशासन एक्टिव मोड पर आ गया है. दौरान बुधवार की रात से धामणगांव रेलवे तहसील के सरकारी डिपो में रखा सैकडों ब्रास रेत स्टॉक खाली किया जा रहा है. वहीं दूसरी ओर आप ओके करो फिर हम कार्रवाई करते है, ऐसा की कुछ मामला दिखाई देने से इसको लेकर चर्चा शुरु है. कार्रवाई संबंध में रेतमाफियों को पहले ही भनक लगी होती, तो कार्रवाई का दिखावा क्यों किया गया? यह सवाल नागरिक कर रहे है.

* एक ही ट्रक पर जीपीएस कैमरा
महाराष्ट्र सरकार राजस्व एवं वन विभाग मंत्रालय दिनांक 9 फरवरी 2024 में अवर सचिव द्वारा सभी विभागीय आयुक्तों को दिये गये स्पष्ट निर्देश के अनुसार यह सुझाव दिया गया है कि नदी घाट से रेत डिपो तक परिवहन करने वाले सभी वाहनों पर मेमोरी कार्ड एवं चिप युक्त सीसीटीवी लगाया जाये. हालांकि एक वाहन पर कैमरा लगा दिया गया और बाकी वाहनों को नजरअंदाज किया गया. कार्रवाई के डर से बाकी चार गाडियों पर सीसीटीवी लगा दिया गया है. कुल मिलाकर आम नागरिकों को निष्पक्ष रेत आपूर्ति हो इस उद्देश्य से संपूर्ण यंत्रणा पर निगरानी रखनेवालों ने की अक्षम्य अनदेखी व अर्थपूर्ण अनदेखी पर जिलाधिकारी क्या कार्रवाई करते है? इस ओर सभी का ध्यान लगा है.

* जीपीएस प्रणाली और कैमरे शोपीस
सरकारी रेती डिपो से रेत की आपूर्ति होने के लिए सरकारी रेत डिपो पर चार सीसीटीवी कैमरे तथा नदीघाट में भी कैमरे लगाने के स्पष्ट निर्देश है. बावजदू इसके सरकारी रेत डिपो वजन काटा पर एक भी सीसीटीवी कैमरा नहीं लगाया गया है. रेत डिपो से जाने के बाद ट्रक में डाले जाने वाले अतिरिक्त रेत का रिकार्ड नहीं होता. तथा नदीघाट में लगाए गए सीसीटीवी कैमरों के वायर अलग करने का कारनामा किया जाने से यहां पर जीपीएस प्रणाली और सीसीटीवी कैमरे शोपीस बने है. बार-बार जाच करने वाले पटवारी, ग्रामसेवक व तहसीलदार का इस ओर ध्यान नहीं गया, या उन्होंने अर्थपूर्ण अनेदखी तो नहीं की, यह संशोधन का विषय है.

Related Articles

Back to top button