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अमरावती/दि.21 – करोडों रूपये की खरीदी-बिक्री का व्यवहार करने के बावजूद सरकार की ओर से लगाये जानेवाले 3 करोड 33 लाख 20 हजार 85 रूपयों का कर डूबोते हुए सरकार के साथ जालसाजी किये जाने को लेकर राजापेठ पुलिस थाने में शिकायत दर्ज करायी गयी है.
मिली जानकारी के मुताबिक विजयकुमार किसान तायडे नामक व्यक्ति मे. शिवाजी ट्रेडिंक कंपनी नामक प्रतिष्ठान की स्थापना कर 21 सितंबर 2016 से अपना आर्थिक व्यवहार करना शुरू किया. दशहरा मैदान हनुमान मंदिर परिसर में व्यवसाय करने के दस्तावेज प्रशासन के समक्ष प्रस्तुत करते हुए ऑनलाईन पध्दति से मूल्यवर्धित कर (वैट) का पंजीयन कराया गया था. किंतु पंजीयन करने के बाद कई दिनों तक किसी भी तरह का कोई व्यवसाय इस फर्म द्वारा नहीं दिखाया गया. इसके बाद 1 जुलाई 2017 से वस्तु व सेवा कर (जीएसटी) कानून अमल में आने के बाद तायडे द्वारा दुबारा अपना पंजीयन किया गया और इस समय तायडे ने अपने फोटो सहित उत्तम ठाकरे नामक व्यक्ति के विद्युत देयक की प्रतिलिपी ऑनलाईन पंजीयन करते समय अपलोड की थी. जिसके बाद विजय तायडे ने 1 जुलाई 2017 से 31 मार्च 2018 के दौरान करीब 66 करोड 76 लाख 88 हजार 916 रूपये के माल की खरीदी-बिक्री की. जिस पर इंटिग्रेट कर के तौर पर 3 करोड 17 लाख 85 हजार 187 रूपये की नोंद (वजावट) ली. पश्चात 1 अप्रैल 2018 से 31 मार्च 2019 के दौरान तायडे की कंपनी के जरिये 3 करोड 22 लाख 32 हजार 852 रूपये के माल की बिक्री करते हुए उस पर 15 लाख 24 हजार 898 रूपये की नोंद (वजावट) ली गई. इस तरह से सरकार के साथ जालसाजी करते हुए 3 करोड 33 लाख 20 हजार 85 रूपये का कर डूबोया गया. ऐसी शिकायत सहायक बिक्री कर आयुक्त ए. एस. अढाउ द्वारा राजापेठ थाने में दर्ज करायी गई है. जिसके आधार पर राजापेठ थाना पुलिस द्वारा विजय तायडे के खिलाफ अपराध दर्ज किया गया है.
- यह मामला आर्थिक मसले से जुडा हुआ है. साथ ही जालसाजी की रकम भी 3 करोड से अधिक है. ऐसे में मामले की जांच आर्थिक अपराध शाखा की ओर सौंप दी गई है.
– मनीष ठाकरे
पुलिस निरीक्षक, राजापेठ पुलिस स्टेशन