अमरावती

बेलोरा विमानतल के लिए चाहिए 50 करोड

एमएडीसी ने लिखा उड्डयन मंत्रालय को पत्र

अमरावती/दि.25 – जिले के बेलोरा विमानतल के विकास व विस्तार हेतु 50 करोड रूपयों की मांग की गई है. इस संदर्भ में महाराष्ट्र विमानतल विकास प्राधिकरण (एमएडीसी) द्वारा केंद्रीय नागरी उड्डयन मंत्रालय से पत्र व्यवहार किया है.
बता दें कि, केंद्रीय नागरी उड्डयन मंत्रालय द्वारा छोटे शहरों के विमानतलों हेतु नैशनल पॉलीसी फॉर सीवील एविएशन फॉर नो फ्रिल एअरपोर्ट की नीति को अमल में लाया जा रहा है. जिसके तहत महानगरों की तुलना में आकार से छोटे लेकिन क्षमता रहनेवाले शहरों में विमानतलों का विकास किया जाता है. इस हेतु केंद्र सरकार द्वारा निधी उपलब्ध करायी जाती है. इसी के तहत अमरावती के बेलोरा विमानतल के लिए 50 करोड रूपयों की मांग की गई है. इस बारे में जानकारी देते हुए एमएडीसी के उपाध्यक्ष तथा व्यवस्थापकिय संचालक दीपक कपूर ने बताया कि, नो फ्रिल एअरपोर्ट के लिए रहनेवाली योजना का लाभ बेलोरा विमानतल को मिले इस हेतु प्रयास किये जा रहे है. राज्य सरकार से मिलनेवाली निधी के अलावा केंद्र से मिलनेवाली निधी अतिरिक्त स्वरूप की रहेगी. जिससे विमानतल के विस्तारीकरण का कार्य जल्द से जल्द पूर्ण होने में सहायता होगी. इसे लेकर हाल ही में नागरी उड्डयन मंत्रालय के सहसचिव उषा पाधी को पत्र लिखा गया है. यह निधी मिलने पर सुरक्षा दीवार के शेष काम, रनवे के विस्तारीकरण, टॉवर के निर्माण एवं टर्मिनल का बेहतरीन काम पूर्ण हो सकेगा. इस निधी से अमरावती विमानतल को क्या फायदा हो सकता है, इसकी विस्तृत जानकारी एमएडीसी द्वारा भेजे गये पत्र में दी गई है.

औद्योगिक विकास को मिलेगी गती

अमरावती जिले में शुरू किए गए टेक्सटाईल पार्क तथा इस जरिये होनेवाले औद्योगिक विकास की संभावना को देखते हुए विमानतल का विकास एवं विस्तार होना जरूरी है. निधी उपलब्ध होने और विमानतल से संबंधित कामों को गति मिलेगी. कुछ दिनों पूर्व ही राज्य सरकार ने बेलोरा विमानतल के लिए 45 लाख रूपये की निधी देने का निर्णय लिया है. इसका भी विमानतल के कामों में लाभ होगा. उल्लेखनीय है कि, नागपुर के बाद अमरावती को विदर्भ क्षेत्र का बडा शहर माना जाता है. जिसके मद्देनजर यहां पर हवाई यातायात की सुविधा उपलब्ध कराने पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है.

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