महाविद्यालय में अटके मैट्रिकोत्तर छात्रवृत्ति के 59 हजार आवेदन
कोविड संक्रमण का छात्रवृत्ति वितरण पर भी असर
अमरावती/दि.29 – सामाजिक न्याय व विशेष सहायता विभाग द्वारा पिछडावर्गीय विद्यार्थियों को डीबीटी पध्दति के जरिये मैट्रिकोत्तर छात्रवृत्ति प्रदान की जाती है. किंतु विगत वर्ष मार्च माह से कोविड संक्रमण के चलते सभी महाविद्यालय बंद है. ऐसे में अमरावती जिले के 59 हजार 619 अनुसूचित जाति, ओबीसी, एसईबीसी, वीजे/एनटी, एसबीसी संवर्ग के विद्यार्थी मैट्रिकोत्तर छात्रवृत्ति से वंचित है, यानी कोविड संक्रमण की वजह से जहां एक ओर शिक्षा बंद है, वहीं दूसरी ओर छात्रवृत्ति भी नहीं मिल रही है. ऐसे में पिछडावर्गीय विद्यार्थियों को दोहरे नुकसान का सामना करना पड रहा है.
बता दें कि, जिले में 1 लाख 28 हजार 687 विद्यार्थियों ने सन 2020-21 के शैक्षणिक वर्ष में मैट्रिकोत्तर छात्रवृत्ति के लिए आवेदन किया था. किंतु महाविद्यालय बंद रहने की वजह से 59 हजार 619 विद्यार्थियों के छात्रवृत्ति संबंधी आवेदन पडताल के बिना प्रलंबित पडे है. साथ ही चूंकि इस समय काफी कडे प्रतिबंधात्मक नियम चल रहे है. ऐसे में अपनी छात्रवृत्ति का क्या हुआ यह पूछने के लिए गांव में रहनेवाले विद्यार्थियों का अमरावती स्थित समाजकल्याण विभाग में पहुंचना भी मुश्किल हो गया है. महाविद्यालयीन विद्यार्थियों की छात्रवृत्ति अटक जाने की वजह से पिछडावर्गीय विद्यार्थियों के अगले शैक्षणिक प्रवेश पर भी परिणाम हुआ है. जिसकी वजह से विद्यार्थियों उनके अभिभावकों में भी चिंता का वातावरण है.
- कोविड संक्रमण की वजह से मैट्रिकोत्तर छात्रवृत्ति संबंधी काम प्रभावित हुआ है. ऑनलाईन पंजीयन के बावजूद महाविद्यालय द्वारा आवेदनों की पडताल करने में काफी विलंब हुआ. छात्रवृत्ति को लेकर कई बार शैक्षणिक संस्थाओं के संचालकों व प्राचार्यों के साथ ऑनलाईन बैठक ली गई. किंतु महाविद्यालय ही बंद रहने के चलते छात्रवृत्ति आवेदनों की पडताल पूर्ण करते हुए इन आवेदनों को आगे नहीं भेजा जा सका.
– विजय सालवे
उपायुक्त, समाज कल्याण विभाग, अमरावती
एससी प्रवर्ग
73,436
56,306
5,930
कितने ऑनलाईन आवेदन प्रस्तुत
समाज कल्याण विभाग से मिली मंजुरी
महाविद्यालय में प्रलंबित आवेदनों की संख्या
वीजेएनटी/ओबीसी
55,251
42,255
3,313