तेज रफ्तार व नियम तोडने से राज्य में रोजाना 80 हादसे, हर घंटे 2 की मौत
7 माह में 16,826 हादसे घटित, 8,832 की मौत, 6,661 घायल
* पिछले वर्ष 3165 हादसों में 16,268 की जान गई थी
अमरावती /दि.27- राज्य में इस समय करीब 4 करोड 58 लाख 120 वाहन सडकों पर दौड रहे है. जारी वर्ष में अब तक 206 दिनों के दौरान 27 हजार 2570 वाहनों के साथ विविध सडक हादसे घटित हुए है. जिसमें से 16 हजार 826 हादसों की जानकारी पुलिस रिकॉर्ड में दर्ज हुई है. जिसमें 8 हजार 832 लोगों की मौत हुई है और 6 हजार 161 लोग घायल होकर दिव्यांगता का शिकार हुए है. यानि राज्य में रोजाना औसतन 80 हादसे घटित हो रहे है और हर घंटे राज्यों की सडकों पर औसतन 2 लोगों की मौत हो रही है. राज्य के पुणे जिले में सर्वाधिक 701 तथा सिंधुदुर्ग जिले में सबसे कम 53 लोगों की मौत सडक हादसों में घटित हुई है. वहीं अमरावती जिले में घटित 176 हादसों में 204 लोग मारे गये है तथा 151 लोग अपंगत्व का शिकार हुए है.
इस संदर्भ में यातायात पुलिस एवं प्रादेशिक परिवहन कार्यालयों की ओर से तैयार की गई रिपोर्ट के मुताबिक तेज रफ्तार और नियमों का उल्लंघन ही सडक हादसे घटित होने के लिए मुख्य वजह होते है. इसके साथ ही अब राज्य में वाहनों की संख्या भी बडे पैमाने पर बढ रही है. वहीं दूसरी ओर शहरी व ग्रामीण क्षेत्र में विविध महामार्गों के कई स्थानों पर खतरनाक मोड भी है. जहां सावधानी व सतर्कता के निर्देश नहीं लगाए गये है. साथ ही सडक हादसों को टालने हेतु स्थायी तौर पर उपाय भी नहीं किये गये है. जिसके चलते रोजाना ही कहीं न कहीं सडक हादसे घटित हो रहे है. इसके साथ ही शराब पीकर वाहन चलाना भी सडक हादसे घटित होने की एक प्रमुख वजह है. जिसके चलते अंतर्गत सडकों सहित जिला, राज्य व राष्ट्रीय महामार्गों पर हादसे घटित होते है. इसके अलावा इन दिनों समृद्धि महामार्ग पर भी सडक हादसे घटित होने का प्रमाण बढ गया है.
* प्रमुख जिलों में हादसों व मौतों की संख्या
जिला हादसे मृत्यु अपंगत्व
नाशिक 685 453 460
संभाजी नगर 354 397 439
जलगांव 258 297 102
नागपुर 303 436 437
अमरावती 176 204 151
* सडक हादसे घटित होने की प्रमुख वजहें
– तेज रफ्तार के साथ वाहन चलाना.
– यातायात नियमों का उल्लंघन करना.
– शराब पीकर वाहन चलाना.
– सडकों की दुरावस्था.
– महामार्गों पर खतरनाक मोड.
– सडकों पर पशुओं का खुलेआम घुमना.