836 निवेशकों की नजरें अदालती फैसले की ओर
श्री सूर्या तथा वासनकर वेल्थ मैनेजमेंट की जालसाजी का मामला
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वर्ष 2013 तथा वर्ष 2015 में दर्ज हुए थे मामले
अमरावती/दि.9 – श्री सूर्या तथा वासनकर वेल्थ मैनेजमेंट इन दो कंपनियों द्वारा दिये गये आकर्षक झांसे में फंसकर करीब 66 करोड रूपये से ठगे गये 836 निवेशकों की निगाहें अब अदालती निर्णय की ओर लगी हुई है. इन दोनों ही मामलोें को सुनवाई हेतु नागपुर की अदालत में रखा गया है. जहां पर मामला सुनवाई के लगभग अंतिम दौर में है.
नागपुर व अमरावती के कई निवेशकों को करोडों रूपयों से फंसानेवाले श्री सूर्या समूह के संचालकों के खिलाफ एमपीआयडी अधिनियम के तहत विशेष सत्र न्यायालय में चल रहे मुकदमे की मौजूदा स्थिति क्या हैं, इसे लेकर मुंबई उच्च न्यायालय की नागपुर खंडपीठ ने राज्य सरकार से जवाब मांगा है. एमपीआयडी कानून के तहत विशेष न्यायालय मेें जारी मुकदमे के तहत सरकारी पक्ष ने अब तक 57 गवाहों की जांच पूरी की है तथा अब भी 12 गवाहों की गवाही दर्ज होना बाकी है. ऐसे में इस मुकदमे को लेकर अदालत का क्या निर्णय होता है, इस ओर हजारों निवेशकों की नजरे लगी हुई है.
वहीं दूसरी ओर निवेशकों के साथ जालसाजी करने के मामले में श्री सूर्या समूह के संचालक समीर जोशी व उनकी पत्नी पल्लवी जोशी सहित कुल 24 आरोपियों के खिलाफ अपराध दर्ज किये गये है. इस मामले में चार्जशीट दाखिल की जा चुकी है. जिसके चलते समीर जोशी ने उच्च न्यायालय में जमानत हेतु आवेदन किया है. समीर जोशी को 15 अक्तूबर 2013 को गिरफ्तार किया गया था और वह तब से जेल में ही है. समीर जोशी ने विविध योजनाओं का लालच दिखाते हुए पांच हजार से अधिक लोगों को 200 करोड रूपयों से ठगा, ऐसा आरोप है. इस मामले में भी एमपीआयडी अदालत में आरोपपत्र दाखिल किया गया है. समीर जोशी व पल्लवी जोशी के खिलाफ अमरावती शहर आयुक्तालय में सन 2013 के दौरान 830 शिकायतेें प्राप्त हुई थी. जिसमें जालसाजी की रकम 64 करोड 2 लाख 88 हजार 738 थी.
वासनकर ने लगाया था 1.51 करोड रूपयों का चुना
वर्ष 2008 से वासनकर वेल्थ मैनेजमेंट के जरिये वासनकर नामक व्यक्ति ने सर्वसामान्य निवेशकों को विविध योजनाओं में दाम दुप्पट रकम वापिस करने का प्रलोभन देकर उनसे बडे पैमाने पर निवेश प्राप्त किया. शुरूआती दौर में कुछ निवेशकों को दोगुनी राशि वापिस भी की गई, लेकिन इसके बाद तय समय पूरा होने पर ब्याज तो दूर, निवेश की गई रकम भी वापिस करने से इन्कार किया जाने लगा. जिसके चलते अप्रैल 2014 में निवेशकों ने वासनकर तथा कंपनी के संचालकों के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज करानी शुरू की. जिसमें अमरावती शहर पुलिस आयुक्तालय अंतर्गत भी 6 शिकायतें दर्ज हुई. जिनमें जालसाजी की रकम 1 करोड 51 लाख 54 हजार 37 रूपये थी.
58 गवाहों के बयान दर्ज
वासनकर वेल्थ मैनेजमेंट द्वारा की गई जालसाजी के मामले को लेकर नागपुर स्थित एमपीआयडी अधिनियम की विशेष सत्र न्यायालय में न्या. सुनील पाटील के समक्ष सुनवाई हो रही है. जहां पर 58 गवाहों की गवाही दर्ज की जा चुकी है. वहीं अब भी करीब 25 गवाहों के बयान दर्ज होने है. इस मामले में प्रशांत वासनकर सहित कुल 28 लोगों को आरोपी बनाया गया है.