अमरावती/दि.3 – जिले में 11 परीक्षा केंद्रों पर सरकारी संगणक टंकलेखन प्रमाणपत्र परीक्षा का आयोजन किया गया था. परीक्षा में जिलेभर से दस हजार विद्यार्थियों का सहभाग होना अपेक्षित था. चार दिन चलने वाली इस परीक्षा को जिला प्रशासन की ओर से अनुमति नहीं प्राप्त हो सकी ऐन समय पर परीक्षा रद्द कर दी गई. जिसकी वजह से परीक्षार्थियों को परेशानियों का सामना करना पडा. जिसको लेकर जिला कम्प्युटर एंड टायपिंग, शॉटहैंड एसो. व एनसोसेफ के सदस्यों ने परीक्षा को अनुमति दिए जाने की मांग जिलाधिकारी से की है. उन्होंने इस आशय का निवेदन जिलाधिकारी को सौंपा.
संगठन के पदाधिकारियों का कहना है कि जिले में कुल दस हजार विद्यार्थी टंकलेखन परीक्षा में सहभागी हो रहे थे. इन विद्यार्थियों को परीक्षा का हॉल टिकट भी सौंप दिया गया था. किंतु पुणे की इन्सटीयूट जिलाधिकारी द्बारा चार दिन चलने वाली इस परीक्षा के लिए अनुमति नहीं दी गई. जिसके चलते परीक्षा 11 घंटे पहले रद्द कर दी गई. एक तरफ राज्य सरकार परीक्षा लेने में किसी भी प्रकार का रोक टोक नहीं कर रही. जिले में रविवार को 29 परीक्षा केंद्र पर स्वास्थ्य विभाग के विविध पदभर्ती हेतु परीक्षाएं ली गई.
ऐसे में टंकलेखन की परीक्षा जिसमें त्रिसुत्री का कडाई से पालन होता है उसे रोकना उचित नहीं है. कोरोना के कारण पहले ही विगत एक वर्ष से टंकलेखन की परीक्षाए नहीं हो पायी है और अब विद्यार्थियों के साथ अभिभावकों मेें भी चिंता व्याप्त है. प्रशासन परीक्षा को अनुमति देकर विद्यार्थी व उनके अविभावकों को होने वाली परेशानी में राहत प्रदान करें ऐसी मांग निवेदन द्बारा एसो. ने की है. इस समय एसो. के धम्मपाल जामनिक, जिला कम्प्युटर टायपिंग, शॉटहैंड एसो. के प्रा. दिलीप भोंडे, प्रा. दिलीप गणोरकर आदि उपस्थित थे.