संपत्ति की खरीदी रकम मिलने के बाद भी पैसे निकालने हेतु जालसाजी का प्रयास
पत्रवार्ता में सागर बनकर ने किया खुलासा
अमरावती /दि.31– विगत दिनों कई अखबारों में तत्कालीन भूमिअभिलेख उपाधीक्षक अनिल फुलझेले के संदर्भ में खबर प्रकाशित की गई थी. जिसमें यह आरोप भी लगाया गया था कि, अनिल फुलझेले के साथ मिली भगत करते हुए सागर बनकर ने विनेश आडतिया नामक व्यक्ति से लाखों रुपयों की जालसाजी की. जबकि हकीकत यह है कि, विनेश आडतिया ने अपने द्वारा बेची गई संपत्ति की पूरी रकम हासिल कर ली थी. लेकिन इसके बावजूद भी अतिरिक्त रकम हासिल करने के लिए विनेश आडतिया ने बेसिर पैर के आरोप लगाने शुरु किये. इस आशय की जानकारी प्रॉपर्टी व्यवसायी सागर बनकर द्वारा आज यहां बुलाई गई पत्रवार्ता में दी गई.
इस पत्रवार्ता में सागर बनकर ने बताया कि, विनेश आडतिया ने राजापेठ स्थित साईकृपा हाईट्स नामक शॉपिंग कॉम्प्लेक्स में दुकान क्रमांक 7 से 12 का सौदा सागर बनकर के साथ 30 लाख 70 हजार रुपए में तय किया था और 28 मार्च 2023 को खरीदी अनुक्रमांक 1697 के जरिए सागर बनकर के नाम विक्री पत्र का पंजीयन किया था. जिसकी एवज में दिये गये धनादेशों की जानकारी भी विक्री खत में की गई थी और उन सभी धनादेशों को सागर बनकर ने बैंक से कैश भी कर लिया था. लेकिन इसके बावजूद विक्री पत्र का पंजीयन होने के बाद विनेश आडतिया ने अपना स्वार्थ साधने हेतू तथा सागर बनकर से और भी रकम निकालने हेतु आर्थिक अपराध शाखा के समक्ष झूठी शिकायत दर्ज कराई. साथ ही दुकानों का विक्री पत्र के हिसाब से फेरफार न हो. इस हेतु आक्षेप भी दर्ज कराये. जिसके बाद मामला जल्द से जल्द खत्म हो. इस बात को ध्यान में रखते हुए आपसी समझौता किया गया. जिसके मुताबिक विनेश आडतिया को 18 लाख रुपए की अतिरिक्त रकम देना तय किया गया. जिसके लिए अलग-अलग धनादेश दिये गये और फोन पे के जरिए रकम ट्रान्सफर की गई. इसकी पावती भी विनेश आडतिया ने सागर बनकर को दी और विक्री पत्र के अनुसार महाराष्ट्र लैंड रेवेन्यू कोड के प्रावधान के तहत फेरफार को अमल में लाया गया. इस आदेश को कही से कोई चुनौती नहीं मिली. परंतु विनेश आडतिया ने दुकान विक्री के एवज में 30 लाख 70 हजार रुपए तथा बाद में अतिरिक्त रकम लेने के बावजूद भी और अधिक रकम हासिल करने हेतु इस मामले को लेकर अदालत में याचिका दायर की तथा बेसिर पैर के आरोप लगानी शुरु किये.
इसके साथ ही सागर बनकर ने यह भी कहा कि, विनेश आडतिया द्वारा अपने मानहानी वाले वक्तव्यों को तुरंत पीछे लिया जाये और बिना शर्त माफी मांगी जाये, इस हेतु उन्हें नोटीस भी जारी की गई है और अब उन्हें अदालत में भी खिंचा जाएंगा.