अमरावती

धन्वंतरी पूजन के उपलक्ष्य में आयुर्वेद दिन मनाया

श्री विश्वकृपा आयुर्वेदालय का आयोजन

वरुड प्रतिनिधि/दि.२७ – स्थानीय श्री विश्वकृपा आयुर्वेदालय में हर साल की तरह इस साल भी धन्वंतरी पूजन के उपलक्ष्य में राष्ट्रीय आयुर्वेद दिन मनाया गया. आरोग्यम धनसंपदा अर्थात आरोग्य ही धन है. उस आरोग्य देवता यानि भगवान धन्वंतरी ने आयुर्वेद में आरोग्य के लिए विविध प्रतिबंधात्मक उपाय बताकर मानव हित एवं सुख प्रदान किया है. अरोग्य शास्त्र भारतीय चिकित्सा प्रणाली का मजबूत पाया है. आज आयुर्वेद को विश्व स्तर पर पहचान और मान्यता प्राप्त हुई है.
अमरावती जिला अंतर्गत वरुड तहसील में आयुर्वेदाचार्य डॉ. चरण सोनारे ने २००४ में आयुर्वेद का एक छोटा सा पौधा लगाया था. जो आज देखते-देखते वट वृक्ष बन चुका है. तहसील ही नहीं परिसर में आज घर-घर तक आयुर्वेद पहुंचाने के लिए डॉ. चरण सोनारे ने कहा है. आयुर्वेद शास्त्र की परंपरा कायम रखने का संकल्प डॉ. चरण सोनारे के साथ उनकी पत्नी प्रणिता सोनारे ने लिया है, और इस क्षेत्र में अपना महत्वपूर्ण योगदान भी दिया है. आयुर्वेद दिन के उपलक्ष्य में राणभाजी स्पर्धा के पुरस्कार व माधवबाग ओपीडी का उद्घाटन डॉ. राम गोधने व डॉ. अनिता गोधने के हस्ते किया गया है.
इस अवसर पर डॉ. मीना बंदे, डॉ. सोनाली आंडे, डॉ. किशोर तराल, डॉ. मिलिंद खेरडे, जायन्ट ग्रुप ऑफ वरुड के पूर्व अध्यक्ष नितिन खेरडे, जिप सदस्य राजेंद्र बहुरुपी, प्रसुती तज्ञ डॉ. मनोहर आंडे, राष्ट्रवादी कांग्रेस के शहर अध्यक्ष प्रमोद उर्फ बालु कोहले, विवेक बुरे, किसनराव सोनारे, नितिन अगदकर, बालरोग तज्ञ डॉ. प्रफुल्ल होले, डॉ. निलेश बरडे,सचिन सावरकर, माया यावलकर, प्रा. किशोर तडस, डॉ. जीतेंद्र नेरेकर, डॉ. प्रियंका नेरेकर आदि उपस्थित थे.

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