बीएससी नर्सिंग व जीएनएम पाठ्यक्रम की शुरुआत
ट्रायडंट इस्टीट्युट महाविद्यालय की रोजगारपूरक सौगात
* संस्थाध्यक्ष प्रियंका निलेश विश्वकर्मा की प्रेसवार्ता में जानकारी
चांदुर रेल्वे/दि.22– समर्थ बहुउद्देशीय संस्था व्दारा संचालित ट्रायडेंट इस्टीट्युट ऑफ नर्सिंग महाविद्यालय व्दारा बीएससी नर्सिंग (चार वर्ष) व जीएनएम (तीन वर्ष) पाठ्यक्रम की शुरुआत हो गई है. संस्थाध्यक्ष प्रियंका निलेश विश्वकर्मा ने मंगलवार को आयोजित प्रेसवार्ता में यह जानकारी दी. रोजगारपूरक पाठ्यक्रमों को महत्व और अनिवार्यता से अवगत कराया.
प्रियंका विश्वकर्मा ने बताया कि, कु-हा मार्ग पर प्रशस्त जगह पर महाविद्यालय का निर्माण किया गया है. बीएससी नर्सिंग को महाराष्ट्र युनिवर्सिटी ऑफ हेल्थ सायंस की मान्यता व जीएनएम कोर्स को महाराष्ट्र बोर्ड ऑफ पैरामेडिकल सायंस की मंजूरी मिली है. प्रियंका विश्वकमां ने बल देकर कहा की यह दोनों पाठ्यक्रम युवाओ के लिए वरदान साबित होगे. महाविद्यालय में प्रशस्त लैब, आधुनिक लायब्ररी व डिजिटल संसाधन मुहैया करवाये गए है. विशेषज्ञ शिक्षक आज के दौर के अनुरुप विद्यार्थियों को पढायेंगे. दोनो कोर्स का मुख्य गाभा प्रेक्टिीकल है. विद्यार्थियों को स्थानीय ग्रामीण अस्पताल, प्राथमिक स्वास्थ केंद्र व निजी अस्पतालो में प्रैक्टीकल की सुविधा उपलब्ध करवाई गई है.
स्थानीय कु-हा रोड पर महाविद्यालय मध्यवर्ती स्थान रहने से सुविधा रहेगी. चांदुर रेल्वे के अलावा धामणगांव रेल्वे, नांदगांव खंडेश्वर, आर्वा, पुलगांव, बाभुलगांव, नेर के विद्यार्थी महाविद्यालय में प्रवेश पा सकते है. सर्वसुविधायुक्त होस्टल की भी सुविधा उपलब्ध करवाई गई है. बीएससी नर्सिंग व जीएनएम पश्चिम विदर्भ के चांदुर रेल्वे जैसे रोजगारपूरक पाठ्यक्रम में दाखिला पाने के लिए लिए 9422117575 व 9090232728 से संपर्क किया जा सकता है. पश्चिम विदर्भ के चांदुर रेल्वे जैसे तहसील में ग्रामीण विद्यार्थियों के यह रोजगारपूरक पाठ्यक्रम करियर की दिशा में भविष्य बनाने का सुनहरा अवसर है.
* बरसो से था सपना
एमएससी मैथ में गोल्ड मेडलिस्ट व मध्यप्रदेश में एमपीपीएससी उत्तीर्ण प्रियंका विश्वकर्मा ने कहा की परंपरागत स्नातक डिग्री लेकर विद्यार्थियों को रोजगार के लिए भटकना पडता है. बेरोजगारी दूर करने के लिए रामबाण उपाय रोजगारपूरक पाठ्यक्रम है, जिससे युवाओं को रोजगार और आत्मनिर्भर बनाये जा सके. उनका बरसो से यह सपना था. कोरोना काल में अनेक युवाओं का रोजगार छिन लिया गया. उनके मन में पीडा थी और युवाओं को रोजगार क्षेत्र में कुछ अनुपम ठोस सौगात देने का सपना डायमंड इस्टीट्यूट के माध्यम से साकार हो रहा है.