अमरावती

कुलर में शॉक से रहें सतर्क

अमरावती/दि.16 – प्रतिवर्ष गर्मी का मौसम आते ही लोगबाग ठंडी हवा के लिए कुलर का प्रयोग करना शुरु कर देते है. साथ ही कुलर के उपरी टप पर लोटे या जग में भरकर पीने का पानी भी रखते है, ताकि पीने का पानी ठंडा हो जाए. इस लोटे व जग को कुलर शुरु रहने समय ही उठाया जाता है. इसके साथ ही कुलर शुरु रहते समय कई लोग उसकी पानी की टंकी में बाल्टी अथवा पाईप से पानी भी भरते है. परंतु ऐसा करते समय कुलर से जोरदार बिजली का झटका लगने की संभावना रहती है और प्रतिवर्ष ही इस तरह की घटना की खबरें भी सामने आती है. जिसमें कई लोगों की जान भी चली जाती है. ऐसे में बेहद जरुरी है कि, गर्मी से निजात पाने और ठंडी हवा का आनंद लेने हेतु लगाए जाने वाले कुलर का प्रयोग करते समय सावधानी व सतर्कता बरती जाए, ताकि किसी भी तरह की कोई दुर्घटना घटित ना हो.
उल्लेखनीय है कि, कुलर में पंखें की मोटर के साथ-साथ पानी की मोटर ऐसे 2 विद्युत उपकरण एकसाथ काम करते है और कुलर में नीचे से लेकर उपर तक तीन ओर से पानी ही पानी रहता है. जिसे विद्युत प्रवाह के लिहाज से ‘गुड कंडक्टर’ माना जाता है. यानि पानी में बिजली प्रवाहित हो सकती है. ऐसे में यदि कुलर की वायरिंग में किसी भी तरह की कोई त्रृटी या खराबी है, तो कुलर के पानी में बिजली का करंट रहने की संभावना बनी रहती है. ऐसे समय यदि कुलर को हाथ लगाया जाए, तो इससे बिजली का जोरदार झटका लग सकता है. अत: कुलर शुरु रहते समय उसे बिल्कुल भी हाथ नहीं लगाया जाना चाहिए.
* यह सतर्कता जरुरी
– कुलर की बॉडी से अरथिंग का कनेक्शन जुडा है अथवा नहीं, यह जरुर देखें.
– कुलर का स्वीच बंद करके और उसके प्लग को सॉकेट से बाहर निकालकर ही कुलर में पानी भरें.
– घर की इलेक्ट्रीक फिटींग के साथ इएलसीबी व आरसीसीबी उपकरणों को जोडें.
– कुलर खरीदते समय उसमें लगी मोटर व वॉटर पंप के ब्रांडेड व आईएसआई मार्क वाले रहने की तस्दीक करें.
– कम कीमत की लालच में सस्ते व लोकल कुलर की कभी भी खरीदी ना करें.
– प्रतिवर्ष कुलर को शुरु करने से पहले उसकी वायरिंग की जांच जरुर करें.

Related Articles

Back to top button