अमरावती

रेलवे में बेवजह चेन खीचेंगे तो खबरदार!

अमरावती/दि.05 -रेलवे में यात्रा करते समय चेन खींचने के लिए कुछ नियम है. इस नियम के अतिरिक्त छिटपुट कारणों के लिए चेन खींची तो एक वर्ष की सजा अथवा एक हजार रुपए जुर्माना होता है. मात्र अनेकों को यह नियम ज्ञात न होने से सीधे चेन खींचकर स्वयं को संकट में डालते हैं. ऐसी सात से आठ घटनाएं हर महीने रेलवे में घटती है.जिसके चलते सावधानी बरतनी जरुरी है.
* चेन खीचने पर क्या होता है?
– कलम 141 के अनुसार दंडात्मक कार्रवाई के लिए संबंधित यात्री पात्र ठहराया जाता है. जिस समय चेन खीची जाती है, उस डब्बे से आवाज आती है. इस स्थान पर के रेलवे पुलिस अथवा आरपीएफ को सूचित करना बंधनकारक होता है. लेकिन अनेक लोग सोया था और स्टेशन चला गया कहते दौड़धूप में चेन खींचते हैं और स्वयं पर मुसीबत लाते हैं.
* इन कारणों से खीचे चेन
स्वयं को जान धोखे में हो तो ऐसे प्रकरण में चेन खींची जा सकती है. यात्रा करने वाले व्यक्ति का छोटा बेटा गलती से नीचे रह गया तो ऐसे समय चेन खीचकर ट्रेन रोकी जा सकती है. मात्र इसके लिए टिकट होना आवश्यक है. तथापि कुछ लोग कोई कारण न रहते हुए होशियारी दिखाने के लिए चेन खींचते हैं.

सालभर में 49 घटना
हर महीने सात से आठ घटना की जानकारी के अभाव में यात्रियों से घटती है. साल में 40 से 50 घटनाओं में यात्री को दंड होता है अथवा जेल होती है. रेलवे से यात्रा करते हो तो नियमों का पालन करना ही पड़ेगा.

भारतीय रेलवे सभी की सकुशल यात्रा के लिए काम करती है. इसके साथ ही यात्रियों को किसी प्रकार की दिक्कत होने पर रेलवे की चेन खींची जा सकती है. जान धोखे में हो, ऐसे समय इसका इस्तेमाल किया जा सकता है, अन्यथा यह कानूनन अपराध है.
– महेन्द्र लोहकरे, प्रबंधक, रेल्वे स्थानक, अमरावती

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