अमरावती

भगवान का वाणी विग्रह है भागवत-क्षमाराम महाराज

भागवत कथा का तीसरा दिन

सतीधाम मंदिर में साबू परिवार का आयोजन
अमरावती/दि.2- भागवत कथा भगवान की कृपा का प्रसाद है, विलक्ष्ण संकल्प है जगत में सतत विस्तारित हो रहा है. सर्वप्रथम ब्रम्हाजी ने नारदजी को कथा सुनाई थी. अनादि अनंतकाल से कथा चलती आ रही है यह तो भगवान का वाणी विग्रह है. यह प्रतिपादन पूज्य कथा प्रवक्ता क्षमारामजी महाराज ने किया. वे रॉयली प्लॉट स्थित सतीधाम मंदिर में साबू परिवार व्दारा आयोजित भागवत कथा में बोल रहे थे.
महाराजजी ने कहा कि, नारदजी ने वेदव्यास को कथा बतलाई. व्यासजी ने शुकदेव को कथा सुनाई. उपरांत शुकदेवजी ने राजा परीक्षित को कथा श्रवण करवाई. उपरांत पूरे विश्व को प्रसाद के रुप में कथा और विवेचन मिलता रहा है यह प्रसाद निरंतर वितरण करते-करते बढता रहा है. उन्होंने कहा कि हम बहुत भाग्यशाली जो हमें कथा श्रवण का अवसर प्राप्त हुआ है. भागवत सत्कार्यो की प्रेरणा देती आई है जिससे जीवन सुगम होता है. आज की कथा में पांडवों के स्वर्गारोहण उपरांत परीक्षित को राजा बनाने का प्रसंग पूज्य प्रवक्ता ने वर्णन किया. उन्होंने द्वापरयुग के बाद कलयुग आने की बात कही.
कथा दो सत्र में सुबह 9 से 12 और दोपहर 3 से 6 दौरान हो रही है. स्वामीजी ने अपनी ओजस्वी वाणी में कथा श्रवण के महत्व को विषद किया. महाराजजी ने कहा कि राजा परीक्षित को ऋषि के श्राप उपरांत पश्चाताप होता है. वह जीवन के शेष दिन ज्ञान प्राप्ति और भगवत भक्ति का संकल्प करते है. पुत्र जनमेजय का राज्याभिषेक कर राजपाठ त्यागकर गंगा तट पर जाते है. वहां शुकदेवजी से कथा श्रवण करने से उन्हें मोक्ष प्राप्त होती है. आज प्रवचन का समापन उद्धव व विदुरजी के संवाद विवेचन पर हुआ.
इस समय विनोद साबू, दिलीप साबू, संजय लखोटिया, घनश्यायम मालानी, संजय अग्रवाल, जय जोशी, अमरचंद मंत्री, लीलाधर राठी, गोपाल भट्टड, रामस्वरुप हेडा, पूनम साबू, चंदन मंत्री, किशोर सोनी, श्रीनिवास सोनी, शशि मुुंधडा, शशि मोहता, शांता कासट, लीला लढ्ढा, भारती भट्टड, मोहनी खंडेलवाल, सुनीता भट्टड, राजा साबू, सुरेखा साबू, पार्वती साबू सहित बडी संख्या में श्रद्धालु उपस्थित थे.

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