अमरावती

बिरसा मुंडा कृषि क्रांति योजना

अनुसूचित जनजाति के किसानों को दिया जा रहा लाभ

* नए कुएं के लिए 2.5 लाख रुपए मिलेगी सब्सिडी
अमरावती/दि.14-अनुसूचित जनजाति के लाभार्थी किसानों को खेत में जलापूर्ति के लिए राज्य सरकार की ओर से बिरसा मुंडा कृषि क्रांति योजना के तहत अनुदान दिया जाता है. नए कुएं के लिए 2.5 लाख तथा पुराने कुंए की मरम्मत के लिए 50 हजार रुपए अनुदान दिया जाता है. रोजगार गारंटी योजना सहित पोकरा योजना के तहत नए कुएं तथा सामग्री के लिए भी लाभ दिया जाता है. इस योजना का लाभ पात्र लाभार्थियों ने लेने का आह्वान किया गया है.
मनरेगा के अंतर्गत 4 लाख रुपए अनुदान दिया जाता है. इसलिए बिरसा मुंडा कृषि योजना का अनुदान बढाया जाए, यह मांग की गई. अनुसूचित जनजाति के किसानों की आर्थिक स्थिति मजबूत हो इसके लिए यह योजना शुरु की गई. खेत में कुएं खोदने के साथ उसका निर्माण करने के लिए 2.5 लाख रुपए अनुदान आदिवासी किसानों को दिया जा रहा है. योजना का लाभ प्राप्त करने के लिए किसान के पास कास्ट सर्टिफिकेट तथा कम से कम 0.4 से 6 हेक्टेयर कृषि भूमि होना आवश्यक है. इसी भूमि पर किसान को कुआं खोदना होगा. इसिलिए आदिवासी किसानों को खेती करने के लिए बारिश के पानी पर निर्भर नहीं पडेगा. आवश्यकता नुसार फसलों को पानी देना संभव होगा. पेयजल के रूप में इस पानी का उपयोग कर सकते है. जिन किसानों के पास बगीचे है. उन्हें बारह माह पानी की आवश्यकता होती है. पानी के अभाव में बगीचे नष्ट न हो इसके लिए उन्हें इस योजना का लाभ अच्छे से होगा. इसलिए ज्यादा से ज्यादा किसानों ने इसका लाभ लेने का आह्वान किया गया है.
* इस प्रकार अनुदान प्राप्त होता है
ेंजिसके पास कुआं है, लेकिन यह अच्छी स्थिति में नहीं है, ऐसे में उन्हें 50,000, बोअर के लिए 20,000, डीजल, बिजली कनेक्शन के लिए 10,000, फार्म माइक्रो और ड्रिप सिंचाई प्रणाली के लिए 50,000, स्प्रिंकलर सिंचाई के लिए 25,000, पीवीसी, एचडीपी पाइप के लिए 30 हजार रुपए का अनुदान दिया जाता है

लाभ दिया जा रहा है
धारनी, चिखलदरा तहसील के अंतर्गत बड़ी संख्या में आदिवासी किसान रहते हैं. यहां पर पिछले तीन साल से किसानों ने कुंए के लिए 500 ऑनलाइन आवेदन किए है. उन्हें इस योजना का लाभ दिया जा रहा है.
– राम देशमुख, कृषि अधिकारी,
पं.स. चिखलदरा

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