सांसे रुकी थी, हर राउंड में उतार-चढाव और अंत में सुलभाताई 5 हजार से विजयी
अलीम पटेल ने सबको चौकाया, ईवीएम वोटिंग व दूसरे व पोस्टल बैलेट ने तीसरे स्थान पर रहे
* पूर्व विधायक व कांग्रेस प्रत्याशी डॉ. सुनील देशमुख ईवीएम वोटिंग में तीसरे स्थान पर, पोस्टल बैलेट ने दिलाया दूसरा स्थान
* भाजपा के बागी जगदीश गुप्ता ने अपने कोटे के पूरे वोट लिये, घडी को पहुंचाया नुकसान
* 11 वें राउंड में अलीम पटेल ने काटी थी महायुति की लीड, 22 वें राउंड तक बनाये रखी थी बढत
* ईवीएम के अंतिम 3 राउंड व पोस्टल बैलेट ने कराई सुलभा खोडके की नैया पार
अमरावती/दि.23 – अमरावती विधानसभा से महायुति में अजीत पवार राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी की महिला उम्मीदवार सौ. सुलभाताई खोडके 25 राउंड की मतगणना में तिहेरी मुकाबले में आखिर के तीन राउंड में बढत बनाकर 5 हजार 413 से चुनाव जीती. यह मुकाबला बेहद काटे की टक्कर वाला व रोमांचक रहा और राउंड दर राउंड होने वाले उतार चढाव को देखते हुए सभी की सांसे काफी देर तक अटकी हुई थी तथा चुनावी नतीजों को लेकर जबर्दस्त उत्सुकता भी बनी हुई थी.
विधानसभा चुनाव हेतु अमरावती निर्वाचन क्षेत्र में हुए मतदान की आज की गई मतगणना में महायुति प्रत्याशी सुलभा खोडके ने पहले राउंड से ही शानदार वोट हासिल करते हुए बेहतरीन बढत बनाये रखी थी तथा लेकिन 8 वें राउंड से आजाद समाज पार्टी के प्रत्याशी डॉ. अलीम पटेल ने सुलभा खोडके की लीड में सेंध लगाते हुए धीरे-धीरे बढत बनाई और 11 वें राउंड में डॉ. अलीम पटेल ने 703 वोटों की लीड हासिल कर तीनों प्रमुख प्रत्याशियों को पीछे छोड दिया. डॉ. अलीम पटेल की यह लीड 21 वें राउंड तक कायम रही और इस समय एक दौर ऐसा भी रहा, जब डॉ. अलीम पटेल की लीड 13 हजार 389 तक जा पहुंची थी. लेकिन 16 वें राउंड से डॉ. अलीम पटेल की लीड घटनी शुरु हुई और 22 वे राउंड में महायुति प्रत्याशी सुलभा खोडके ने शानदार कमबैक करने के साथ ही लीड को घटाकर 839 पर ला दिया और 23 वें राउंड में सुलभा खोडके ने 2253 वोटों की लीड हासिल करने के साथ ही 25 वें राउंड तक 5413 वोटों की लीड हासिल करते हुए शानदान जीत प्राप्त की. ऐसे में जिले के आठों निर्वाचन क्षेत्र मेें केवल अमरावती निर्वाचन क्षेत्र ही एकमात्र ऐसा चुनावी अखाडा रहा, जहां पर लगातार उतार-चढाव वाला दौर चल रहा था और चुनावी नतीजों को लेकर सभी की सांसे कुछ हद तक अटकी हुई थी.
अमरावती निर्वाचन क्षेत्र के चुनावी नतीजों को देखते हुए साफ तौर पर कहा जा सकता है कि, मतगणना के दौरान कुल 4 बार बडे उलटफेर हुए. जब पहले राउंड से बढत बनाये रखने वाली महायुति प्रत्याशी सुलभा खोडके को मिल रहे वोटों का ग्राफ 7 वें व 8 वें राउंड तक लगातार उपर उठता रहा. लेकिन 9 वें राउंड से लीड घटने के साथ ही 11 वें राउंड में उस समय उलटफेर हुआ, जब डॉ. अलीम पटेल ने महायुति प्रत्याशी सुलभा खोडके की पूरी लीड को काटकर 703 वोटों की लीड बना ली और यहां से डॉ. अलीम पटेल की लीड का ग्राफ उपर उठता गया, जो 14 वें व 15 वें राउंड तक 13 हजार वोटों से अधिक था. वहीं 16 वें राउंड से अलीम पटेल की लीड घटनी शुरु हुई, जो 21 वें राउंड तक घटकर 2255 रह गई और 22 वें राउंड में महायुति प्रत्याशी सुलभा खोडके ने इस लीड का काटते हुए 839 वोटों की लीड बना ली और अगले ही यानि 23 वें राउंड में सुलभा खोडके की लीड 2253 वोटों पर पहुंच गई. साथ ही 24 वें व 25 वें राउंड की मतगणना के बाद महायुति प्रत्याशी सुलभा खोडके 60 हजार 87 वोट हासिल करते हुए 5 हजार 413 वोटों की लीड के साथ विजयी हुई.
खास बात यह है कि, महायुति प्रत्याशी सुलभा खोडके के प्रमुख प्रतिद्वंदी रहने वाले व महाविकास आघाडी की ओर से कांग्रेस के प्रत्याशी रहने वाले डॉ. सुनील देशमुख ईवीएम के जरिए मिले वोटों के मामले में तीसरे स्थान पर रहे. लेकिन डाक मतों ने उन्हें दूसरे स्थान पर ला दिया. वहीं बडी तेजी के साथ एक राजनेता के तौर पर उभरे आजाद समाज पार्टी के प्रत्याशी डॉ. अलीम पटेल ने अप्रत्याशित रुप से ईवीएम वोटिंग में दूसरा स्थान पाया. परंतु पोस्टल बैलेट के जरिए मिलने वाले वोटों की संख्या कम रहने के चलते वे अंतिम मतगणना पश्चात तीसरे स्थान पर चले गये. अंतिम मतगणना पश्चात डॉ. सुनील देशमुख को 54 हजार 674 तथा डॉ. अलीम पटेल को 54 हजार 591 वोट हासिल हुए थे. यानि डॉ. सुनील देशमुख व डॉ. अलीम पटेल के बीच मात्र 83 वोटों का फर्क रहा. वहीं भाजपा के बागी नेता व निर्दलीय प्रत्याशी जगदीश गुप्ता ने अपने कोटे के पूरे वोट हासिल करते हुए ईवीएम व पोस्टल बैलेट के जरिए 34 हजार 67 वोट प्राप्त किये. बता दें कि, अमरावती निर्वाचन क्षेत्र में 2 लाख 15 हजार 258 वोट पडे थे. जिनमें 3 हजार 198 पोस्टल बैलेट का भी समावेश था.
* मुस्लिम बहुल क्षेत्रों से घडी व पंजे को कम फायदा
इस बार यह माना जा रहा था कि, अमरावती निर्वाचन क्षेत्र में हमेशा ही निर्णायक भूमिका निभाने वाले मुस्लिम बहुल क्षेत्रों द्वारा घडी या पंजे में से किसी एक को भरपूर साथ मिलेगा. परंतु लोकसभा चुनाव के बाद उठाई गई ‘अबकी बार मुस्लिम आमदार’ की मांग को याद रखते हुए अमरावती निर्वाचन क्षेत्र के मुस्लिम मतदाताओं ने एक तरह से घडी व पंजे की काफी हद तक अनदेखी की और ‘कैटली’ को जमकर चलाया. जिसकी बदौलत सातवे राउंड से लेकर 11 वें राउंड से लेकर 21 वें राउंड तक डॉ. अलीम पटेल की कैटली ने घडी व पंजे के सामने अपनी बढत को शानदार तरीके से मनाये रखा. ऐसे में एक समय तो यह भी माना जाने लगा था कि, अब शायद डॉ. अलीम पटेल की लीड कटना थोडा मुश्कील है, लेकिन 16 वें राउंड के बाद से धीरे-धीरे लीड घटनी शुरु हुई. हालांकि डॉ. अलीम पटेल 21 वें राउंड तक पहले स्थान पर ही बने हुए थे.
* जगदीश गुप्ता की दावेदारी से ‘घडी’ दिखी खतरे में
भाजपा द्वारा खुद की टिकट काटे जाने से नाराज होकर निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर चुनाव लडने वाले पूर्व मंत्री जगदीश गुप्ता ने हिंदुत्व के नाम का सहारा लेकर यह चुनाव लडा और 34 हजार से अधिक वोट हासिल करते हुए एक तरह से महायुति की प्रत्याशी सुलभा खोडके को नुकसान पहुंचाने का काम किया. जिस समय सुलभा खोडके व डॉ. अलीम पटेल के बीच 10 से 13 हजार वोटों का अंतर चल रहा था और अलीम पटेल पहले नंबर पर बने हुए थे. तब भाजपा के बागी नेता जगदीश गुप्ता भी लगभग 10 से 12 हजार वोट हासिल करते हुए चौथे स्थान पर बने हुए थे.
* डॉ. सुनील देशमुख शुरु से ही पीछे रहे
इससे पहले दो बार कांग्रेस तथा एक बार भाजपा की टिकट पर विधायक रह चुके तथा पिछली बार भाजपा प्रत्याशी के तौर पर हार का सामना कर चुके डॉ. सुनील देशमुख इस बार के चुनाव में शुरु से ही दूसरे स्थान पर बने रहे और अंत तक दूसरे स्थान पर ही रहे. हालांकि अंतिम मतगणना के बाद ईवीएम पर दर्ज वोटों के मामले में डॉ. सुनील देशमुख तीसरे स्थान पर खिसक गये. जिन्हें पोस्टल बैलेट के जरिए मिले वोटों ने दूसरे स्थान पर लाने के साथ ही सम्मानजनक स्थिति में भी लाया. जबकि डॉ. सुनील देशमुख ने राउंड दर राउंड बढत बनाये रखने का सिलसिला शानदार बनाये रखा था. लेकिन वे किसी भी राउंड में पहले स्थान के दावेदार बनते नजर नहीं आये.