करोडो रूपये की बकाया वसूली मजीप्रा के लिए चुनौती
कोरोना के चलते अदा नहीं किए थे ग्राहको ने पानी के बिल
अमरावती प्रतिनिधि/दि.१४ – कोरोना के चलते ग्राहको की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं होने की वजह से जलापूूर्ति ग्राहको ने पानी के बिल अदा नहीं किए थे. जिसमें जलापूर्ति ग्राहको पर 337 करोड 22 लाख रूपये मजीप्रा के बकाया है. इन बकाया करोडों रूपये की वसूली मजीप्रा के सामने चुनौती है. सेवानिवृत्त कर्मचारियों की संख्या बढने की वजह से कार्यालय खाली हो चुके है. मजीप्रा के करोडो रूपये की वसूली 40 प्रतिशत कर्मचारियों के भरोसे होने के चलते वसूली का लक्ष्य पूरा हो पायेगा या नही, ऐसा सवाल मजीप्रा के सामने खडा होता दिखाई दे रहा है.
मनपा क्षेत्र अंतर्गत आनेवाले परिसर को महाराष्ट्र जीवन प्राधिकरण की ओर से अप्परवर्धा बांध से जलापूर्ति की जाती है. शहरवासियों को एक दिन की आड में जलापूर्ति की जाती है. अमृत योजना के तहत निर्माण हो रही 11 टंकिया व जलशुध्दिकरण केन्द्र का काम अधूरा है. ठेकेदार कोर्ट में जाने से यह योजना अधूरी पडी है. जिससे लोगों को 24 घंटे जलापूर्ति नहीं की जा रही. गत 10 वर्षो में वसूली की रकम 337 करोड 22 लाख तक पहुंच गई है. जिसकी वसूली मनपा के लिए चुनौती साबित हो रही है.
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मूल रकम से अधिक ब्याज
मनपा पर महाराष्ट्र जीवन प्राधिकरण का सार्वधिक बकाया होने की जानकारी प्राप्त हुई है. सार्वजनिक वितरण प्रणाली के माध्यम से मनपा जीवन प्राधिकरण के माध्यम से जलापूर्ति करती है. उसके एवज में बिल मनपा को अदा करना पडता है. मनपा द्बारा बकाया नही अदा करने के चलते 117 करोड 12 लाख 70 हजार 370 रूपये बिल बकाया है. जिसमें मूल रकम 53 करोड 2 लाख, 84 हजार है. इसमें ब्याज का आंकडा 43 करोड 90 लाख 91 हजार 393 रूपये का है. बिल अदा करने में देरी होने के चलते जुर्माने का आकडा मूल रकम से भी अधिक हो गया है. घरेलू व कमर्शियल ग्राहकों पर 137 करोड 11 लाख 76 हजार 443 रूपये का मूल बिल बकाया है. जिसमें भी ब्याज की रकम 82 करोड 98 लाख 20 हजार 421 रूपये है, ऐसा कुल मिलाकर 220 करोड 90 लाख 96 हजार 924 रूपये मजीप्रा को वसूलना है.
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केवल 40 प्रतिशत कर्मचारी
मजीप्रा में सेवानिवृत्त कर्मचारी की संख्या बढ रही है. अधिकांश अधिकारियों व कर्मचारी दिसंबर 2020 में सेवानिवृत्त होने की वजह से मजीप्रा के पास अब केवल 40 प्रतिशत कर्मचारी है. सेवानिवृत्त होने की वजह से अधिकांश टेबल मजीप्रा के खाली है. ऐसे में कम कर्मचारियों में सामने बकाया वसूली का प्रश्न निर्माण हुआ है.
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ग्राहक स्वयंस्फूर्ति से अदा करे बकाया बिल
कोरोना के चलते नागरिको की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है. लेकिन जिस तरह से हर नागरिक मोबाइल रिचार्ज, टीवी रिचार्ज के साथ महावितरण का बिल अदा कर रहा है. उसी तरह मजीप्रा का बिल भी अदा करे. मजीप्रा द्बारा कार्रवाई की राह न देखे. स्वयं स्फूर्ति से बकाया अदा करे और मजीप्रा को सहयोग करे.
सुरेन्द्र कोपुलवार,
कार्यकारी अभियंता मजीप्रा, अमरावती