अचलपुर/दि.23 – लगातार बारिश व बदरीले मौसम के कारण अब सोयाबीन के बादल मंडराने लगे हैं. इस वातावरण के कारण सोयाबीन पर कीड़े व भंवरे के प्रादुर्भाव का खतरा बढ़ा है.जिससे किसानों के लिए चुप बैठने की बजाय उपाय योजना करना आवश्यक हो गया है.
जिले की सोयाबीन फसल पर कीड़े व भंवरों का प्रादुर्भाव होने की संभवना को देखते हुए किसानों को तुरंत उपाय योजना करने का आवाहन कृषि विभाग व्दारा किया गया है. इसके लिये कृषि कर्मचारियों को जनजागृति करने के आदेश दिये गये हैं. जिन किसानों ने जून महीने के पहले पखवाड़े की बारिश के बाद सोयाबीन की बुआई की, उन किसानों की फसल सद्य स्थिति में बीस से बाईस दिनों की हुई है. जिससे इस सोयाबीन की फसल पर कीड़ों का प्रादुर्भाव होने की काफी संभावना है. वहीं जिन किसानों ने जून माह के दूसरे सप्ताह में बारिश होने पर सोयाबीन की बुआई की है, ऐसे सोयाबीन की फसल पर भी आगामी कुछ दिनों में इन कीड़ों का प्रादुर्भाव होने की संभावना है. साथ ही भंवरा कीड़े के प्रादुर्भाव की संभावना को नकारा नहीं जा सकता. इस कारण किसानों को इस ओर ध्यान देते हुए कीड़ों का व्यवस्था करनी चाहिए, जिससे सोयाबीन की फसल पर कीड़ों का प्रादुर्भाव दिखाई नहीं देगा.
फसलों के उपाय योजना की अधिक जानकारी के लिए तहसील स्तर पर कृषि सहायक, कृषि पर्यवेक्षक, मंडल कृषि अधिकारी, तहसील कृषि अधिकारी, उपविभागीय कृषि अधिकारी से संपर्क कर समय रहते सोयाबीन फसल पर पड़ने वाले कीड़ों को पहचानकर उसका व्यवस्थापन करने का आवाहन कृषि विभाग व्दारा किया गया है.
- संतरा फलबाग व सोयाबीन पर भंवरे व कीड़ों का प्रादुर्भाव होने की संभावना होने के कारण किसान बंधुओं में जागृति करना जरुरी है. प्रत्येक गांव में यह संदेश पहुंचाने के लिए वॉट्सअॅप ग्रुप पर व कृषि सहायक को हार्डकॉपी कृषि वार्ता फलक ग्रामपंचायत कार्यालय में प्रसिध्द करने बाबत सूचना दी गई है.
– प्रफुल्ल सातव, तहसील कृषि अधिकारी, अचलपुर