सीयूईटी का पेपर पैटर्न ही बदला, परीक्षा पद्धति में भी अकस्मात बदलाव
विद्यार्थियों पर अचानक बढ गया बोझ, पढाई को लेकर चिंता
अमरावती/दि.24– नैशनल टेस्टिंग एजेंसी द्वारा प्रतिवर्ष ली जाने वाली सामायिक विद्यापीठ परीक्षा यानि सीयूईटी के लिए विद्यार्थियों द्वारा जमकर मेहनत की गई. साथ ही विद्यार्थियों ने कक्षा 12 वीं की बोर्ड परीक्षा में भी शानदार अंक हासिल किये. परंतु इस वर्ष अचानक ही पेपर पैटर्न बदल दिये जाने के चलते विद्यार्थियों को प्रश्नपत्र हल करने हेतु समय कम पड गया. इसकी वजह से अब यह परीक्षा देने वाले विद्यार्थियों की धडकनें तेज हो गई है. जिसकी वजह से नैशनल टेस्ट एजेंसी द्वारा इस संदर्भ में विद्यार्थी हितों को ध्यान रखते हुए निर्णय लिये जाने की मांग की जा रही है.
बता दें कि, भारत में प्रतिवर्ष यह परीक्षा चरणबद्ध तरीके से ली जाती है और प्रतिवर्ष तीन से साढे तीन लाख विद्यार्थी इस परीक्षा में शामिल होते है. इस परीक्षा के परिणाम पश्चात विद्यापीठों में प्रवेश के लिए कट ऑफ तय किया जाता है. जिसके चलते मेहनती व मेधावी छात्र-छात्राओं को न्याय मिला करता था. इस वर्ष नॉर्मलाईजेशन की झंझट से छूटने हेतु यह परीक्षा 15 से 17 मई के दौरान एक ही समय ली गई तथा 15 मई को दिल्ली के अलावा अन्य राज्यों में अंग्रेजी विषय के पेपर पैटर्न को इस वर्ष बदल दिया गया है. प्रतिवर्ष अंग्रेजी के पेपर में दो पैसेज आया करते थे. जिसकी दृष्टि से विद्यार्थियों ने भी तैयारी की थी. परंतु ऐन समय पर पेपर में 4 पैसेज दिखाई दिये. जिससे विद्यार्थियों में संभ्रम फैल गया. दिल्ली में कुछ कारणों के चलते इस पेपर को आगे ढकेलते हुए 30 मई को लिया जाना तय किया गया है. नई पद्धति से लिये जाने वाले पेपर को हल करने हेतु मिलने वाला समय पुरानी पद्धति की ही रखा गया है. ओएमआर शीट व फार्म भरने हेतु 5 से 7 मिनट का समय चले जाने के बाद बचे हुए समय में 4 पैसेज पढकर 40 प्रश्न छूडाने हेतु विद्यार्थियों के लिए समय कम पड गया. जिसके चलते वे कई प्रश्न हल नहीं कर पाये. ऐसे में अन्य पेपरों के अलावा केवल अंग्रेजी विषय हेतु अंकों को नॉर्मलाइज करते हुए विद्यार्थियों को न्याय दिया जाये, ऐसी मांग विद्यार्थियों सहित अभिभावकों द्वारा की जा रही है.
* विद्यार्थियों का भविष्य अधर में
उच्च शिक्षा के लिए अपनी पसंद वाले विद्यापीठ अंतर्गत महाविद्यालय में प्रवेश मिलने हेतु विद्यार्थियों द्वारा दिन-रात मेहनत की जाती है. हाल ही में कक्षा 12 वीं की बोर्ड परीक्षा का नतीजा घोषित हुआ और कई विद्यार्थियों ने 90 फीसद से 98 फीसद तक अंक प्राप्त किये. जिससे आनंदीत व उत्साहित रहने वाले विद्यार्थियों को सीयूईटी के अंग्रेजी विषय के पेपर ने निराश किया है. ऐसे में यदि नैशनल टेस्टिंग एजेंसी द्वारा योग्य निर्णय नहीं लिया जाता, तो विद्यार्थियों का भविष्य अधर में लटकने की पूरी संभावना है.
* दिल्ली के विद्यार्थी हुए सतर्क
विगत 15 मई को दिल्ली में अंग्रेजी विषय का पेपर रद्द कर दिया गया था, जो आगामी 30 मई को होने वाला है. ऐसे में देश के अन्य राज्यों में ली गई परीक्षा एवं विद्यार्थियों के अनुभव को देखते हुए दिल्ली के विद्यार्थियों को बदले हुए पेपर पैटर्न का अंदाजा आ गया. साथ ही उन्हें 15 दिनों की अतिरिक्त अवधि भी मिल गई. जिसके चलते दिल्ली के विद्यार्थियों ने अपने आप को अपडेट करना शुरु कर दिया है. ऐसे में फिलहाल दिक्कत में फंसे विद्यार्थियों के लिए एनटीए द्वारा क्या भूमिका अपनाई जाती है. इसकी ओर सभी का ध्यान लगा हुआ है.