अमरावती

दीपाली आत्महत्या मामला पहुंचा राष्ट्रीय महिला आयोग के पास

एड. उज्वल निकम को नियुक्त करने की मांग

अमरावती/दि.2 – मेलघाट व्याघ्र प्रकल्प अंतर्गत हरिसाल की वन परिक्षेत्र अधिकारी दीपाली चव्हाण की आत्महत्या का मामला अब दिल्ली स्थित राष्ट्रीय महिला आयोग के पास पहुंच गया है. अल्पसंख्यक आयोग के सलाहकार सदस्य तथा संत गाडगेबाबा अमरावती विद्यापीठ के राज्यपाल नियुक्त सीनेट सदस्य मनीष गवई ने गत रोज महिला आयोग की अध्यक्षा रेखा शर्मा से मुलाकात करते हुए उन्हें इस मामले की जानकारी दी. साथ ही इस मामले में आरोपियों को कडी से कडी सजा दिलाने हेतु अभियोजन पक्ष की ओर से एड. उज्वल निकम को नियुक्त करने की मांग की गई है.
इस समय महिला आयोग की अध्यक्षा रेखा शर्मा को बताया गया कि, आरएफओ दीपाली चव्हाण ने आत्महत्या करने से पहले चार पन्ने का सुसाईड नोट लिखा था. जिसमें गुगामल वन्यजीव विभाग के उपवन संरक्षक विनोद शिवकुमार तथा अपर मुख्य वन संरक्षक एस. एम. रेड्डी द्वारा दी जा रही शारीरिक, मानसिक व आर्थिक प्रताडना से तंग आकर आत्महत्या करने की बात लिखी थी. पश्चात इस मामले में पुलिस ने विनोद शिवकुमार को हिरासत में लेकर उसके खिलाफ अपराध दर्ज किया है. जिसे फिलहाल न्यायालयीन कस्टडी के तहत जेल में रखा गया है. किंतु आयएफएस लॉबी की वजह से अब तक अपर मुख्य वन संरक्षक एम.एस. रेड्डी के खिलाफ अपराध दर्ज नहीं किया गया है. जबकि राज्य के वन मंत्रालय ने रेड्डी को निलंबित कर दिया. ऐसे में दीपाली चव्हाण आत्महत्या मामले में रेड्डी को भी सहआरोपी बनाया जाना बेहद जरूरी है और इस मामले में अभियोजन पक्ष की ओर से एड. उज्वल निकम की नियुक्ती की जानी चाहिए, ताकि दोषियों को कडी से कडी सजा मिल सके. ज्ञापन सौंपते समय विभिषण जाधव तथा मारूती पवार आदि भी उपस्थित थे.

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