* सरकारी गोदाम में अधिक संग्रह
नई दिल्ली/दि.28– ऐन दिवाली के दिनों में खाद्य पदार्थ तैयार करने के लिए लगनेवाली दाले सस्ती होने के संकेत है तथा अगले 6 माह तक स्थिर होने के संकेत है. सरकारी गोदाम में रहनेवाली दालों का संग्रह और बाजार में आनेवाले ताजे उत्पादन के कारण नवंबर में ऐन दिवाली के समय और सस्ती होने के संकेत दिखाई दे रहे है. देश में फिलहाल फूटकर बाजार में तुअर दाल 152 रूपए प्रति किलो तथा उडद की दाल 119.70 रूपए प्रति किलो है.
विगत 4 माह में सरकार ने 1.6 लाख मैट्रिक टन तुअरदाल बाजार उतारी . किमत स्थिर रहने पर इसके लिए सरकार ने पूर्व अफ्रिका के देश से आयात शुरू की है. तुअर की दाल का संग्रह रोकने के लिए सरकार ने संग्रह पर प्रतिबंध लगाया है. ग्राहकों को दाल मिलने पर अडचने नहीं आयेगी. इस सबंध में सरकार दक्ष है. 2023 की अधिसूचना अनुसार फिलहाल तुअर और उडद की दाल पर आयात शुल्क नहीं लगाया जाता.
* कम पडने की चिंता नहीं
म्यानमार, मलावी, मोझाम्बिक, टांझानिया इन देशों से मुख्य रूप से दाल का आयात किया जाता है. म्यानमार और संयुक्त अरब आमिरात इन देशो की ओर से बडे प्रमाण में दाल खरीदी जाती है.
जिन देशो से भारत में बडे प्रमाण में दाल का आयात किया जाता है. वहां पर इस बार दाल का उत्पादन अच्छा होगा. ऐसा अनुमान है. इस वर्ष में 24 लाख टन दाल का आयात किया है.
* सरकारी गोदाम में 40 लाख मेट्रिक टन का संग्रह
– दाल का रोपण क्षेत्र विगत वर्ष की तुलना में इस बार 6% से घटा है. फिर भी सरकार को आशा है कि नवंबर में बाजार में आनेवाले माल के कारण दाल की कीमते कम होगी.
– केंद्र सरकार के गोदाम में फिलहाल 40 लाख मेट्रिक टन दाल का संग्रह उपलब्ध है. ग्राहको की आवश्यकता को देखकर सरकार द्बारा इन दालों का वितरण किया जा सकता है.
– विगत सीजन में जोरदार खरीदी किए जाने से सरकार के पास दाल का संग्रह अधिक है. भाव के नियंत्रण के लिए सरकार समय पर यह संग्रह बाजार में ला सकती है.