पूरे देश में करें जातिनिहाय जनगणना
सीपीआई ने किया कलेक्ट्रेट पर प्रदर्शन
अमरावती/दि.18- देश में हर 10 वर्ष में जाति निहाय जनगणना होती थी. लेकिन विगत कई वर्षो से देश में जाति निहाय जनगणना नहीं होने से विभिन्न जाति के युवाओं में बेरोजगारी बढी है. इसलिए पूरे देश में जाति निहाय जनगणना की जाने की मांग भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी की ओर से की गई है. जिसके चलते आज गुरुवार की दोपहर जिलाधिकारी कार्यालय के मुख्य गेट के सामने प्रदर्शन कर जिलाधिकारी को निवेदन सौंपा गया.
सौंपे गए निवेदन में कहा गया है कि 1931 में जातिनिहाय जनगणना हुई थी, 94 वर्ष के बाद भी आज मागास जाति के लिए कल्याणकारी योजना की बनाते समय 1931 मे जनगणना का आधार लेना अयोग्य है. जिसके चलते अपेक्षित विकास का टप्पा नहीं बना है. ऐसा देश के जानकारो का कहना है. हर दस वर्ष में जनगणना होती है मगर 2011 के बाद प्रलंबित रहने वाली 2021 की जनगणना अभी भी मोदी सरकार ने शुरी नहीं की है. जिसके कारण कई जाति के युवाओं को बेरोजगार रहना पड रहा है. जातिनिहाय जनगणना करने सहित आरण की मर्यादा बढाने की मांग संगठन की ओर से की गई है. इस समय राष्ट्रीय कौंसिल सदस्य तुकाराम भस्में, जिला सचिव सुनिल मेटकर राज्य कौंसिल सदस्य अशोक सोनारकर के नेतृत्व में सागर दुर्योधन, डॉ. ओमप्रकाश कुटेमाटे, जे एम कोठारी. शरद मंगले, विनोद जोशी, लता सोनारकर, चंद्रकांत बानुबाकोडे, निलकंठ ढोके, चंद्रकांत वडस्कर, क्रांति देशमुख, पंकज आवारे, एम.वाई. शहाणे, संतोष सुरजुसे, अवडझाडे, संजय मंडवधरे, सुनिल घटाले, राहुल मंगले, कैलास ठाकरे, विश्वास कांबले, प्रकाश सोनोने, प्रा. अरविंद वानखेडे, नितिन गादे, महेश जाधव, बापुराव बालापुरे, गणेश अवसाडे, उमेश बनसोड, सुरज ठेंबरे, नारायण भगवे, दिगांबर नगेकर, जयेन्द्र भोगे, जगदिश आत्राम, संजय इंदोरे, मधुकर, बावणकर, संतोष राऊत, प्रज्ञा बनसोड, प्रतिभा मेश्राम, निरंजन बेले, प्रज्वल ढोके, विजय रोडगे, रोशन कांबले, गौरव इंगले, प्रफुल्ल देशमुख, अविनाश कणसे, लक्ष्मण भगेवार आदि उपस्थित थे.