गले में दर्द की न करें अनदेखी
अमरावती/दि.12– अगर किसी भी खाद्य पेय पदार्थ को गिटकने में कोई तकलीफ हो रही हो, तो तुरंत डॉक्टर से मिलकर अपनी इस तकलीफ के बारे में बात करनी चाहिए. क्योंकि गले में किसी तरह के संसर्ग, जख्म अथवा अन्ननलिका के कैंसर जैसे वजहों के चलते निगलने और गिटकने में तकलीफ हो सकती है. जिसके बाद ऐसे मरीजों को मिक्सर में बारिक किए गए अन्न का सेवन करना पडता है, या फिर उन्हें द्रव स्वरुप में अन्ननलिका के जरिए भोजन देने का प्रयास करना पडता है. इन बातों के मद्देनजर गले में किसी भी तरह की तकलीफ अथवा संक्रमण रहने पर डॉक्टर से त्वरित संपर्क करना फायदेमंद रहता है.
* गले में इन्फेक्शन
गले में खिचखिच, आवाज बैठना व गले में जलन ये छिटपूट बीमारी या लक्षण है. परंतु यदि बार-बार इसकी तकलीफ हो रही है, तो गले में किसी तरह का इन्फेक्शन होने की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता. अत: ऐसे लक्षण दिखाई देते ही तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए.
* क्या है लक्षण?
गले में खिचखिच, आवाज बैठना व गले में जलन यह सभी गले में ससंर्ग के कुछ लक्षण है. इसके साथ ही गले मेें दर्द रहना, तीव्र वेदना होना व गिटकते समय तकलीफ होना भी गले में संक्रमण के लक्षण कहें जा सकते है.
* क्या सतर्कता जरुरी
बेहद ठंडे व बेहद गर्म पेय का सेवन करना, जोरदार आवाज में बात करना या चिल्लाना तथा धुम्रपान व मद्यपान करना आदि बातों को टालने से गले के संक्रमण से बचा जा सकता है. इसके साथ ही वातावरण में होने वाले बदलाव की वजह से भी गले में संक्रमण हो सकता है.
* कितने दिनों में डॉक्टर को दिखाना चाहिए?
गले में संक्रमण के लक्षण दिखाई देते ही डॉक्टरों के साथ त्वरित भेंट करना सबसे योग्य है. कई बडी बीमारियोें की शुरुआत गले के संक्रमण से ही होती है. कई बार गले से रक्त भी निकलता है और गले की नसों में ठनक होती है. यह सभी लक्षण आगे चलकर किसी बडी बीमारी की ओर इशारा करते है. जिसके चलते इन लक्षणों की अनदेखी नहीं की जानी चाहिए.
* घरेलू उपाय भी आजमाकर देखे
गुनगुने पानी में थोडा नमक डालकर उससे कुल्ला करने का फायदा होता है. साथ ही गुनगुने दूध में हल्दी डालकर पीने भी फायदेमंद रहता है. हल्दी में विषाणु प्रतिबंधक गुणधर्म रहते है. जिससे गले का इन्फेक्शन खत्म होता है. इसके अलावा लहसून की कली को अच्छी तरह चबाकर खाने से भी गले के दर्द से राहत मिलती है. ऐसा घरेलू उपाय करने वाले कई अनुभवी बताते है.