अमरावती

कुपोषित बच्चे व मरीजों को देखे बिना निकल गए डॉक्टर

विधायक राजकुमार पटेल की औचक भेंट में उजागर हुआ मामला

* हतरु व काटकुंभ में केवल दस्तखत करने डॉक्टर होते है हाजिर
* अदालती आदेश व सरकारी निर्देशों की जमकर हो रही अनदेखी
अमरावती/दि.18 – उच्च न्यायालय द्बारा दिए गए निर्देशानुसार आदिवासी बहुल मेलघाट की धारणी व चिखलदरा तहसील में स्वास्थ्य केंद्र में 15-15 दिन के लिए राज्य के विविध क्षेत्रों से स्त्री रोग व बाल रोग विशेषज्ञ डॉक्टरों की नियुक्ति की जाती है. ताकि क्षेत्र के कुपोषित बच्चों सहित गर्भवती व नवप्रसूता महिलाओं एवं अन्य सभी तरह के मरीजों को समूचित इलाज मिल सके. लेकिन अक्सर पाया जाता है कि, इनमें से अधिकांश डॉक्टर हस्ताक्षर करने के बाद लापता हो जाते है. ऐसा ही एक मामला मेलघाट निर्वाचन क्षेत्र के विधायक राजकुमार पटेल द्बारा कुछ प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों को दी गई औचक भेंट में उजागर हुआ. जिसके चलते विधायक राजकुमार पटेल ने कुपोषित बच्चों व मरीजों की स्वास्थ्य जांच व इलाज से मुंह मोडने वाले डॉक्टरों पर कार्रवाई करने की मांग की है. जिसकी वजह से स्वास्थ्य महकमे में अच्छा खासा हडकंप व्याप्त है.
ज्ञात रहे कि, मेलघाट में बालमृत्यु व कुपोषण को नियंत्रित करने के उद्देश्य से उच्च न्यायालय ने मेलघाट के उपजिला अस्पताल सहित विभिन्न प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में 15-15 दिन के लिए स्त्री विशेषज्ञों व बालरोग विशेषज्ञोें की नियुक्ति करने का आदेश राज्य सरकार को दिया था. जिस पर अमल करते हुए राज्य सरकार ने भी राज्य के विभिन्न क्षेत्रों से वास्ता रखने वाले विशेषज्ञ डॉक्टरों की मेलघाट में नियुक्ति की. लेकिन अक्सर पाया जाता है कि, 15 दिन के लिए नियुक्त होने वाले डॉक्टर यहां पर केवल 2-4 दिन ही उपस्थित रहते है और कागजी खानापूर्ति करते हुए अपनी हाजिरी दर्शाने हेतु मस्टर पर हस्ताक्षर करते हुए यहां से निकल लेते है. ऐसे में आदिवासियों के स्वास्थ्य को लेकर रहने वाली समस्या जस की तस है और डॉक्टरों द्बारा की जा रही इस बेरुखी की वजह से उच्च न्यायालय के निर्देशों व सरकारी आदेशों की जमकर अनदेखी हो रही है.

* हतरु व काटकुंभ के डॉक्टर लापता!
विधायक राजकुमार पटेल द्बारा दी गई शिकायत के मुताबिक हतरु के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में नियुक्त किए गए डॉ. ज्योति मुखीे व डॉ. राजुनंद गायकवाड बिना आवेदन दिए अनुपस्थित थे. साथ ही चुर्णी उपजिला अस्पताल में स्त्री रोग विशेषज्ञ ने अपने काम का जिम्मा ही नहीं संभाला. साथ ही इन सभी डॉक्टरों के बारे में पूछताछ करने पर स्वीय सहायकों के जरिए दिशाभूल करने वाली जानकारी भी उपलब्ध कराई गई.

* डॉक्टरों की आपसी मिलीभगत
विधायक राजकुमार पटेल के मुताबिक बालरोग विशेषज्ञ व स्त्री रोग विशेषज्ञ के संदर्भ में हतरु व काटकुंभ के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों के प्रभारी वैद्यकीय अधिकारी ने वरिष्ठ कार्यालय से असल जानकारी छीपाते हुए उन डॉक्टरों की झूठी उपस्थिति दर्शायी और वरिष्ठ कार्यालय को गलत रिकॉर्ड पेश किया. जिसके चलते उच्च न्यायालय के आदेश की अवहेलना हुई. साथ ही सरकार की आंखों में धूल झोंकते हुए सरकार के साथ आर्थिक जालसाजी भी की गई. अत: संबंधितों के खिलाफ आवश्यक कार्रवाई की जानी चाहिए.

* मेलघाट के कुपोषित बच्चों तथा गर्भवती व नवप्रसूता महिलाओं की स्वास्थ्य जांच हेतु नियुक्त किए गए विशेषज्ञ डॉक्टरों द्बारा अदालती आदेश की अवहेलना तथा सरकारी निर्देशों की अनदेखी करते हुए सरकार एवं प्रशासन के साथ जालसाजी की जा रही है. ऐसे में संबंधितों की शिकायत करते हुए उनके खिलाफ कार्रवाई करने की मांग हमने की है.
– राजकुमार पटेल,
विधायक, मेलघाट निर्वाचन क्षेत्र

* विधायक राजकुमार पटेल द्बारा दी गई शिकायत के मद्देनजर सभी डॉक्टरों को अदालती निर्देश व सरकारी आदेश का पालन करने हेतु मौखिक रुप से सुचित किया गया है. साथ ही सभी अधिकारियों को लिखित पत्र भी भेजा जाएगा.
– डॉ. सुभाष ढोले,
उपजिला स्वास्थ्य अधिकारी

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