पत्नी के प्रति रहे प्रेम के कारण किया मृत्रपिंड दान
वटसावित्री के दिन अवयव दान कर पत्नी को नया जीवन देने पर उदय तुंडलवार को समाधान

* सुपर स्पेशालिटी में हुई प्रत्यारोपण की प्रक्रिया
अमरावती/दि.14– वटसावित्री को पत्नी यह पति के लंबी आयु की कामना करती रहती है. लेकिन 2024-25 वर्ष के वटसावित्री को पति ने पत्नी को मूत्रपिंड दान करने की दुर्लभ और समाज के लिए प्रेरणादायी घटना अमरावती के सुपर स्पेशालिटी हॉस्पिटल में घटित हुई.
पत्नी सरला तुंडलवार मूत्रपिंड की बीमारी से ग्रस्त थी. उसके दोनों मूत्रपिंड खराब हो गये थे. ऐसे में आर्णी निवासी पति उदय मुरलीधर तुंडलवार ने पत्नी को मूत्रपिंड दान कर नया जीवन देने का निर्णय लिया. जिस दिन उदय तुंडलवार ने सरला को मूत्रपिंड दान की वह दिन वटसावित्री का था. केवल महिला ने ही पति धर्म निभाया यह आवश्यक नहीं है. जबकि पति ने भी अपना धर्म और प्यार का पालन करते हुए पत्नी को अवयव दान किया, तो जीवन सुखमय रहता है, ऐसा तुंडलवार ने कहा. पत्नी सरला को मूत्रपिंड दान करने के अलावा दूसरा कोई पर्याय नहीं था. इसकी जानकारी सुपर स्पेशालिटी हॉस्पिटल से मिलने के बाद 57 वर्षीय उदय ने खुद की 48 वर्षीय पत्नी सरला को मूत्रपिंड दान करने का निर्णय लिया. खुले विचार रखने वाले उदय ने मूत्रपिंड दान करने के लिए आवश्यक सभी प्रक्रिया पूर्ण की. प्रसिद्धि के लिए नहीं, बल्कि पत्नी पर प्यार के खातीर उसने यह निर्णय लिया. पत्नी और पति दोनों ही खुशी से अपना जीवन बिता रहे है. विशेष यानि उदय ने अपनी आयू के 15 वें वर्ष में ही मरणोप्रांत नेत्रदान का संकल्प किया. उन्होंने पत्नी के प्रति ही अपना कुछ कर्तव्य है, इस भावना से उसे अपने शरीर का एक भाग दिया. बोला वैसा करो और बेवजह दिखावा मत करों, अन्यों को मार्गदर्शन करना आसान है. लेकिन खुद से ही कोई भी शुरुआत करना कठीन है, ऐसा भी तुंडलवार ने कहा.
* 4 विवाहिता ने तथा 1 पति ने किया मूत्रपिंड दान
सुपर स्पेशालिटी हॉस्पिटल में 2018 से मूत्रपिंड प्रत्यारोपण शस्त्रक्रिया शुरु हुई. तब से अब तक अनेक प्रत्यारोपण शस्त्रक्रिया हुई है. 4 विवाहित महिलाओं ने पति को तथा 1 पति ने पत्नी को मूत्रपिंड दान किया है.
* अन्य पुरुष प्रेरणा लें
पति-पत्नी यह जीवन के दो पहिये है. दोनों व्यवस्थित चले तो ही जीवन सही चलता है. इसी का विचार कर मूत्रपिंड पत्नी को दान करने का निर्णय लिया. इससे अन्य पुरुषों ने भी प्रेरणा ली, तो मुझे निश्चित रुप से समाधान मिलेगा.
– उदय तुंडलवार,
मूत्रपिंडदाता.