* यवतमाल में सर्वाधिक 46 मरीज
मुंबई/दि.15 – बदलते मौसम की वजह से राज्य में कभी धूप व कभी बारिश का चित्र दिखाई दे रहा है. बढती उष्णता व उमस की वजह से कई तरह की मौसमी बीमारियां भी फैल रही है. साथ ही अचानक गर्मी बढने के चलते राज्य में उष्माघात होने का भी खतरा बना हुआ है. विगत 1 माह के दौरान मुंबई में उष्माघात के 72 मरीज पाए गए. वहीं राज्य के अन्य जिलों में उष्माघात के 357 मरीज रहने की जानकारी दर्ज हुई है. जिसमें सर्वाधिक 46 संदेहित मरीज यवतमाल जिले से पाए गए है.
उल्लेखनीय है कि, विगत कुछ वर्षों के दौरान पूरी दुनिया भर में तापमान बडी तेजी से बदल रहा है. ऐसे में उष्माघात जैसा गंभीर खतरा होने की संभावना बनी हुई है. शरीर में 40 डिग्री सेल्सिअस से अधिक तापमान होने पर सूर्य की उष्णता के सामने तापमान का सामान्य स्तर बना रहना असंभव होता है. जिसके चलते संबंधित व्यक्ति की मौत भी हो सकती है.
* क्या होता है उष्माघात
तेज गर्मी में काम करने पर शारिरीक तकलीफ होने की संभावना बनी रहती है. जिसके चलते उष्मापात (हिट एक्झॉशन) तथा उष्माघात (हिट स्ट्रोक) होने का खतरा रहता है. लगातार लंबे समय तक तेज गर्मी में काम करने की वजह से पहले उष्मापात होता है. इसकी वजह से उष्माघात की समस्या पैदा होती है.
शरीर द्बारा मर्यादा से अधिक उष्णता निर्माण करने अथवा उष्णता को शोषित करने की वजह से हाईपर थर्मिया यानि अति उच्च तापमान की बीमारी होती है. उष्माघात इसी बीमारी का एक प्रकार है. बाहर का तापमान बढने पर शरीर में तापमान को नियंत्रित करने वाली यंत्रणा गडबडा जाती है.
* ऐसे करें बचाव
– भरपूर पानी पिये
– हल्के वजन व फिके रंग वाले ढिले-ढाले सूती कपडे पहने,
– धूप में बाहर निकलते समय गॉगल, टोपी, छाते व दुपट्टे का प्रयोग करें.
– धूप मेें निकलते समय टोपी या हैट के नीचे हल्का गिला कपडा रखे.
– गिले पर्दों तथा पंखें व कुलर की सहायता से घर को ठंडा रखे.
* यह न करें
– तेज धूप में मेहनत वाले काम ना करें
– गहरे रंग वाले तंग कपडे ना पहने
– तेज धूप व गर्मी के समय रसोई घर के काम टाले
– रसोई घर को पूरी तरह से हवा की आवाजाही वाला रखे
– चाय-कॉपी, सॉफ्ट ड्रिंक तथा शराब का सेवन टाले
– अत्याधिक प्रोटीनयुक्त अनाज या बासी भोजन का सेवन न करें