अमरावती

राज इम्फ्राटेक के पूर्व कर्मचारी ने किया 52.77 लाख का घोटाला

सीईओ अनिल खडसे ने पत्रकार परिषद में दिया स्पष्टीकरण

  • सिध्दार्थ मनोहरे के खिलाफ फ्रेजरपुरा पुलिस थाने में दी शिकायत

अमरावती/दि.21 – ग्रामीण क्षेत्र के विभागों में सामग्री व सेवा आपूर्ति करने वाली राज इम्फ्राटेक कंपनी में धामणगांव रेलवे तहसील के अंजनसिंगी में रहने वाला सिध्दार्थ रमेश मनोहरे काम करता था. मगर नौकरी से निकलने के बाद उसने कंपनी के नाम पर 52 लाख 77 हजार 379 रुपए का भ्रष्टाचार किया है. उसके खिलाफ फ्रेजरपुरा पुलिस थाने में शिकायत दी गई है, ऐसा स्पष्टीकरण राज इम्फ्राटेक के सीईओ अनिल खडसे ने पत्रकार परिषद में दिया.
अनिल खडसे ने बताया कि, सिध्दार्थ मनोहरे राज इम्फ्राटेक कंपनी का पृूर्व कर्मचारी था. उसने उसके पिता को पैरेलिसिस होने और व कोमा में होकर उनपर इलाज शुरु होने जैसे विभिन्न कारण बताकर जनवरी 2022 से कार्यालय से गैरहाजीर रहता था. कंपनी ने उसे कारण बताओ नोटीस भी थमाया था. मगर उसमें गंभीर समस्या होने की बात कहकर कार्यालय नहीं आ सकता, ऐसा कहकर पद से इस्तीफा दिया. परंतु एक माह इस्तीफा के दोैरान कंपनी में काम करते रहेगा, ऐसा उल्लेख किया था. कंपनी में वह आता जाता रहा. कार्यालय अधीक्षक रहने के कारण कंपनी व ग्राहकों का विश्वास था. कंपनी के सामग्री का कुछ पेमेंट होना बाकी था. क्लाईंट ने उसे आर्थिक लेनदेन के कुछ दस्तावेज दिये थे. 13 फरवरी को ग्रामपंचायत काकरमल के सचिव उनके कार्यालय में आये और उन्हें बताया कि, उनके बैंक खाते से 40 हजार रुपए निकले है. खडसे ने बताया कि, उसके बाद उन्होंने कार्यालय में उनके ड्रावर चेक किया. उसमें से 80 हजार नगद व महत्वपूर्ण दस्तावेज गायब थे. उन्होंने तत्काल अकरमल के ग्रामसेवक को साथ लेकर 13 फरवरी के दिन फ्रेजरपुरा पुलिस थाने में शिकायत दी.
अनिल खडसे ने यह भी स्पष्ट किया कि, अलग अलग ग्रामपंचायत से 52 लाख 77 हजार 379 रुपए की रकम ट्रान्फर हुई है, ऐसा फोन आया. रविवार होने के कारण शिकायत दी, सोमवार को बैंक में जाकर जांच की. संबंधित अधिकारियों से चर्चा करने पर सिध्दार्थ मनोहरे ने 5 फरवरी को इरा इम्फ्राटेक नामक अस्तित्व में न होने वाली बोगस एजेंसी व बैंक में खुद के नाम पर केवायसी कर बैंक खाता खोला. श्याम चौक स्थित बैंक ऑफ इंडिया व बैंक ऑफ बडोदा में उसने ग्रामपंचायत की रकम ट्रान्सफर की. 10 फरवरी की दोपहर 3 बजकर 11 मिनट पर 50 लाख रुपए की एक ही दिन में रकम उठाकर अलग अलग ग्रामपंचायत व राज इम्फ्राटेक कंपनी के साथ धोखाधडी की. बैंक अधिकारियों से चर्चा का एडिओ क्लिप भी उन्होंने सुनाया. उन्होंने कहा की राज इम्फ्राटेक का उसकी किसी भी एजेंसी से कोई भी संबंध नहीं है. सिध्दार्थ मनोहर के गिरफ्तारी के बाद उसकी सच्चाई सबके सामने आयेगी, ऐसा भी उन्होंने पत्रकार परिषद में स्पष्ट किया है.

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