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जानलेवा हमला करने वाले आरोपी को पांच वर्ष सश्रम कारावास

दूसरे आरोपी को एक वर्ष की सजा, दो आरोपी फरार

* परलाम में कुल्हाडी व लोहे के पाइप से किया था हत्या का प्रयास

अमरावती/ दि.20- बडनेरा पुलिस थाना क्षेत्र के परलाम में शिकायतकर्ता महिला शिला खडसे के पति विलास खडसे पर आरोपी उमेश तायडे, सचिन तायडे, प्रितम तायडे व लखन तायडे ने कुल्हाडी और लोहे के पाइप से हमला कर हत्या करने का प्रयास किया. इस मामले में जिला न्यायालय क्रमांक 3 के न्यायमूर्ति निखिल पी.मेहता की अदालत ने अतिरिक्त सरकारी वकील मंगेश भगत की दलीलें सुनते हुए आरोपी उमेश तायडे को 5 वर्ष की सश्रम कारावास व प्रितम तायडे को 1 वर्ष की सश्रम कारावास की सजा सुनाई. जबकि सचिन और लखन नामक दोनों आरोपी अब तक फरार है.
जानकारी के अनुसार 17 नवंबर 2014 की शाम 7.30 बजे शिकायतकर्ता शिला खडसे के पति विलास खडसे डॉ.बाबासाहब आंबेडकर के पुतले के सामने बैठे थे. इस समय आरोपी उमेश उर्फ उमक सहदेव तायडे व सचिन उमेश तायडे विलास खडसे को गालियां देकर पीट रहे थे. इस समय शिकायतकर्ता उसके पति विलास कोे लेकर सामने के घर में गई. कुछ देर बाद आरोपी लखन तायडे कुल्हाडी, लोखंड का पाइप, लठ लेकर शिकायतकर्ता के घर आया और घर का दरवाजा तोडकर घर में घुसा. घर में तोडफोड मचाई. गालियां देकर धमकी देते हुए वहां से चला गया. इसके बाद शिकायतकर्ता महिला उसके पति विलास के साथ रात 9 बजे बडनेरा पुलिस थाने में शिकायत देने जार ही थी, तब आरोपी लखन तायडे ने लक्ष्मण ढोके के पास विलास खडसे को रोेका और फिर कुल्हाडी, लोहे का पाइप, लठ से मारते हुए कहा कि, तू कैसे शिकायत देने जाता है, हम देखेंगे. इस हमले में विलास खडसे बूरी तरह लहुलुहान होकर घायल हो गया. तब घायल पति को महिला ने गांववालों के सहयोग से इलाज के लिए अमरावती जिला अस्पताल में लाया.
घटना के दिन ही महिला शिलाबाई खडसे ने बडनेरा पुलिस थाने में शिकायत दी. पुलिस ने सभी आरोपियों के खिलाफ दफा 307, 452, 294, 324, 325, 427, 34 के तहत अपराध दर्ज कर तहकीकात करते हुए दोषारोपपत्र अदालत में दायर किया. इस मुकदमे में सहायक सरकारी वकील मंगेश भगत ने 6 गवाहों के बयान लिये. यह मुकदमा अदालत में प्रलंबित रहते समय घायल विलास खडसे की मृत्यु हो गई और आरोपी सचिन तायडे व लखन तायडे मुकदमा प्रलंबित रहते समय फरार हो गए. उनकी तलाश शुरु है. इसके कारण दो आरोपियों के खिलाफ मुकदमा चलाया गया. सरकारी गवाहों के सबूत, सरकारी वकील की दलीले मान्य करते हुए न्यायमूर्ति निखिल मेहता की अदालत ने आरोपी उमेश तायडे का दफा 307 के तहत दोषी करार देते हुए पांच वर्ष सश्रम कारावास, 10 हजार रुपए जुर्माना और जुर्माना न भरने पर तीन माह अतिरिक्त कडे कारावास की सजा सुनाई. वहीं आरोपी प्रितम तायडे को दफा 352 के तहत दोषी करार देते हुए 1 वर्ष सश्रम कारावास व 2 हजार रुपए जुर्माना तथा जुर्माना न भरने पर एक माह अतिरिक्त कडे कारावास की सजा सुनाई. जुर्माने की रकम में से 10 हजार रुपए घायल की पत्नी शिला खडसे को नुकसान भरपाई के रुप में देने के आदेश अदालत ने दिये है. सरकारी पक्ष की ओर से अतिरिक्त सरकारी वकील मंगेश भागवत, पैरवी अधिकारी के रुप में पीएचसी सुधाकर माहुरे, एनपीसी अरुण हटवार ने सहयोग किया.

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