अमरावतीमहाराष्ट्र

लोकसभा में 73 साल में चार महिलाओं को मौका

वर्ष 1951 से चुनाव की शुरुआत

अमरावती/दि.2– पहले लोकसभा चुनाव वर्ष 1951 में हुए. तबसे वर्ष 2019 के चुनाव तक अमरावती संसदीय क्षेत्र में 5 बार महिलाओं ने प्रतिनिधित्व किया है. इस 73 साल में अमरावती की सांसद होने का मौका विमलबाई देशमुख, उषाताई चौधरी, प्रतिभा पाटिल और नवनीत राणा को मिला है. अब तक 19 सांसद होने से जिले का 20 वां सांसद कौन होगा? महिला अथवा पुरुष इस बाबत उत्सुकता आम नागरिको में है.

अमरावती जिले के ‘ताई’ का जिला कहा जाता है. देश की पहली महिला राष्ट्रपति होने का बहुमान अमरावती की सांसद रही प्रतिभा पाटिल को मिला है. 1962 में जिले की सांसद रहे डॉ. पंजाबराव देशमुख के निधन के बाद हुए उपचुनाव में विमलबाई पंजाबराव देशमुख निर्वाचित हुई और जिले की पहली महिला सांसद बनी. पश्चात 1980 और 1984 में लगातार दो बार उषाताई चौधरी अमरावती की सांसद हुई. वर्ष 1991 के चुनाव में प्रतिभा पाटिल और वर्ष 2019 में नवनीत राणा को संसद में जिले का नेतृत्व करने का अवसर मिला है.

* 20 साल में 12 महिला उम्मीदवार मैदान में
2019 में 4 महिला उम्मीदवारो में से नवनीत राणा को लोकसभा में जाने का अवसर मिला. वर्ष 2014 में 7 महिला उम्मीदवार, वर्ष 2009 में एक महिला उम्मीदवार मैदान में थी. जबकि वर्ष 2004 में कोई महिला उम्मीदवार मैदान में नहीं थी.

* पहली महिला राष्ट्रपति होने का सम्मान
देश की पहली महिला राष्ट्रपति होने का सम्मान जिले की सांसद रही प्रतिभा पाटिल को मिला है.

* जिले की महिला सांसद
वर्ष 1965 : विमलबाई देशमुख
वर्ष 1980 : उषा चौधरी
वर्ष 1984 : उषा चौधरी
वर्ष 1991 : प्रतिभा पाटिल
वर्ष 2019 : नवनीत राणा

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