अमरावती में भी हो सकता है ‘घाटकोपर’
मनपा के बाजार परवाना व निर्माण विभाग में समन्वय का अभाव
* होर्डींग के कामो का स्ट्रक्चरल ऑडीट ही नहीं हुआ
* 318 अनधिकृत होर्डींग है शहर में
अमरावती/दि.16– विगत सोमवार को मुंबई के घाटकोपर में विशालकाय होर्डींग ढह जाने की वजह से हुए हादसे में 14 लोगों की मौत हो जाने के बावजूद भी अमरावती मनपा प्रशासन ने शहर में स्थित 318 होर्डींग संचालको पर कार्रवाई के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाए है. ऐसे में होर्डींग्स को लेकर किसी तरह की स्थिति रहने पर अमरावती में भी किसी भी वक्त ‘घाटकोपर’ की पुनरावृत्ती हो सकती है. ऐसे हालात बने हुए है.
बता दे कि, अमरावती महानगर पालिका के लिए सन 2017-18 से ही होर्डींग का विषय काफी नाजूक बना हुआ है. इसी दौरान वस्तू व सेवा कर यानी जीएसटी लागू हुई थी और उस समय 265 होर्डींग्स को सम्मती दी गई थी. परंतु होर्डींग पर लगाए जानेवाले जीएसटी को लेकर नया विवाद पैदा हुआ था और तब से भी होर्डींग अधिकृत है या अनधिकृत, इसे लेकर सवाल बना हुआ है. अमरावती मनपा क्षेत्र में मनपा की जमिनो सहित कई नीजि स्थानो पर होर्डींग्स खडे किए गए है. परंतु इन होर्डींग्स के कामो का अब तक स्ट्रक्चरल ऑडीट नहीं हुआ है. जिसके चलते होर्डींग्स को लेकर मनपा के बाजार परवाना तथा निर्माण विभाग में समन्वय का अभाव रहने की हकिकत सामने आई है.
अमरावती महानगर पालिका के क्षेत्र अंतर्गत आनेवाले अमरावती शहर में आज भी कई स्थानो पर होर्डींग लगे हुए है. जो खतरनाक स्थिती में है. इन होर्डींग्स के कामो का न तो स्ट्रक्चरल ऑडीट हुआ है और न ही उनके निर्माण की अनुमति ली गई है. इसी तरह से मनपा के बाजार परवाना विभाग का कामकाज चल रहा है. ऐसे में आम जनता द्वारा सवाल पूछा जा रहा है कि, यदि घाटकोपर की तरह अमरावती में होर्डींग दुर्घटना होती और ऐसे हादसे में किसी की जान जाती है, तो इसके लिए जिम्मेदार कौन होगा?
* स्ट्रक्चरल ऑडीट के लिए समय नहीं
मनपा के बाजार परवाना विभाग के पास 150 अनधिकृत होर्डींग्स को नियमित करने हेतु प्रस्ताव विचाराधिन पडे है, ऐसी जानकारी इन प्रस्तावों को निर्माण विभाग के पास भेजा गया है. होर्डींग के कामो का स्ट्रक्चरल ऑडीट होने के बाद ही इन होर्डींग्स को नियमित करते हुए अनुमति दी जाएगी. परंतु मनपा के निर्माण विभाग के अभियंता के पास होर्डींग के कामो का स्ट्रक्चरल ऑडीट करने हेतु समय ही नहीं है.
* अनधिकृत होर्डींग को लेकर नगर विकास का पत्र
अनधिकृत विज्ञापन, घोषणा पत्र, होर्डींग तथा पोष्टर के खिलाफ कार्रवाई करने हेतु कल 14 मई को ही राज्य के नगर विकास विभाग की उपसचिव प्रियंका कुलकर्णी छापवाले के हस्ताक्षर से एक पत्र जारी हुआ. मनपा आयुक्त व पालिका मुख्याधिकारियों सहित नगर परिषद संचालक व आयुक्त के नाम जारी इस पत्र के जरिए घाटकोपर में हुए होर्डींग हादसे के मद्देनजर कई गाईडलाईन जारी की गई है.
* 13 अप्रैल को गिर पडा था होर्डींग, सौभाग्य से जीवितहानी नहीं
याद रहे कि, विगत 13 अप्रैल को अमरावती शहर में तेज आंधीतूफान के साथ जबरदस्त बेमौसम बारिश हुई थी. इस समय इर्विन चौक स्थित एक इमारत पर लगाया गया अनधिकृत होर्डींग अपने स्थान से उखडकर नीचे सडक पर आ गिरा था. सौभाग्य से उस समय कोई जनहानी नहीं हुई थी अन्यथा उसी समय अमरावती में घाटकोपर जैसी घटना घटित हुई होती. विशेष उल्लेखनीय है कि, उस होर्डींग को क्रेन के जरिए उठाने के लिए तीन से चार घंटे का लंबा समय लगा था. इस दौरान इस रास्ते से होनेवाली वाहनों की आवाजाही को दूसरी ओर मोड दिया गया था. लेकिन इसके बावजूद भी मनपा प्रशासन द्वारा मूकदर्शक की भूमिका निभाई जा रही है.
* पुलिस में शिकायत के बाद भी होर्डींग कायम
मनपा के बाजार परवाना विभाग की ओर से 29 सितंबर 2023 को राजापेठ व सीटी कोतवाली पुलिस थानो में अनधिकृत होर्डींग को लेकर शिकायत दी गई थी. लेकिन होर्डींग के मालिक इतने अधिक ‘गब्बर’ हो गए है कि, उन्होंने पुलिस शिकायत की भी कोई फीक्र नहीं की. इसके साथ ही अमरावती शहर में अनधिकृत होर्डींग का जाल विस्तारित होने के लिए मनपा के कुछ अधिकारियों की होर्डींग मालिको के साथ आपसी मिलीभगत रहने की बात भी स्पष्ट रुप से दिखाई देती है.
* क्या कुछ लोगों की जान जाने की का हो रहा इंतजार
अमरावती शहर में मुख्य मार्गो सहित व्यापारी क्षेत्रो में सडक किनारे उंची इमारतो पर विशालकाय आकारवाले होर्डींग लगाए गए. जिनके कभी भी ढह जाने का खतरा बना रहता है. ऐसे में सावधानी व सतर्कता के उपायों की ओर कौन ध्यान देगा? यह अपने आप में सबसे बडा सवाल है.
बॉक्स/फोटो
गत रोज ही बाजार परवाना विभाग को अमरावती महानगर क्षेत्र में स्थित अनधिकृत होर्डींग हटाने के आदेश दिए. आपत्ति व्यवस्थापन कक्ष भी पूरी तरह से अलर्ट है. अनधिकृत होर्डींग हटाने के बाद इसकी रिपोर्ट 8 दिन के भीतर पेश करने के निर्देश भी दिए गए. शहर में किसी भी अनधिकृत होर्डींग को नहीं रहने दिया जाएगा.
– डॉ. देवीदास पवार
आयुक्त, अमरावती मनपा.