राज्य के कोतवालों को न्याय दें
पिछडा वर्गीय अधिकारी, कर्मचारी महासंघ ने राज्यपाल के नाम भेजा पत्र
अमरावती-/ दि. 10 राज्य के कानून व सुव्यवस्था, प्राकृतिक विपदा, किसान आत्महत्या, चुनाव जैसे महत्वपूर्ण काम राजस्व विभाग व्दारा किये जाते है. राजस्व विभाग को राज्य शासन के प्रशासन व्यवस्था की रिढ की हड्डी समजा जाता है. इसी विभाग का कर्मचारी कोतवाल है. मगर कोतवालों की विभिन्न समस्याएं आज भी बरकरार है, कोतवालों को न्याय दिया जाए, ऐसी मांग को लेकर राज्य पिछडा वर्गीय अधिकारी, कर्मचारी महासंघ ने जिलाधिकारी के माध्यम से राज्यपाल, मुख्यमंत्री आदि को ज्ञापन भिजवाया.
ज्ञापन में उन्होंने कहा है कि, कोतवाल ब्रिटीश काल से लगातार सेवा देते आ रहा है. हर काम में कोतवालों का महत्वपूर्ण योगदान रहा है. उन्होंने अपनी मांग रखते हुए कहा कि, कोतवालों को गुजरात व झारखंड सरकार की तर्ज पर चतुर्थ श्रेणी का दर्जा देकर सुविधाएं उपलब्ध कराये. श्रेणी चार के रिक्त पदों पर बगैर शर्त नियुक्त करे, नियुक्ति करते समय आयु की शर्त न रखे, बढती महंगाई को देखते हुए प्रति माह कम से कम 21 हजार रुपए मानधन दे, ऐसी मांग करते समय महासंघ के अध्यक्ष विजयकुमार चौरपगार, बी. ए. राजगडकर, प्रल्हाद धुर्वे, विश्वास दंदे, रंगराव तायडे समेत अन्य सदस्य उपस्थित थे.