अमरावतीमहाराष्ट्र

गोल्डन फाईबर ने राष्ट्रीय कामगार सेना का फलक निकाल कर फेंका

नांदगांव एमआईडीसी की घटना

* मजदुर संगठन हुई आक्रमक
* पुलिस उपायुक्त सहित अधिकारी घटना स्थल पर दाखिल
नांदगांव पेठ/दि.01– स्थानिक पंचतारांकित एमआयडीसी स्थित गोल्डन फाईबर कंपनी के परिसर में लगे शिवसेना प्रणित राष्ट्रीय कामगार सेना का फलक निकाल कर फेक देने की घटना 29 मई को सामने आई. परप्रांतीय अधिकारी ने स्थानीय मराठी मजदूरों को भूल जाने के कारण स्थानीय मजदुर आक्रमक हो गये थे. मगर पुलिस उपायुक्त सागर पाटील की मध्यस्थता के कारण यह विवाद थम गया. निकाले गए फलक को उसी स्थान पर ही लगाने के बाद मजदुरों का गुस्सा खत्म हुआ.
मजदुरों के लिए आगे रहने वाली तथा मजदुरों को उनका न्याय व अधिकार के लिए हमेशा लडने वाली शिवसेना प्रणित राष्ट्रीय कामगार सेना विगत देड वर्षो से सक्रिय है. नांदगांव पेठ के गोल्डन फाईबर कंपनी में बीच-बीच में मजदुरों व व्यवस्थापन में विवाद निर्माण होने पर राष्ट्रीय कामगार सेना की स्थापना की गयी. उसके बाद चुनाव में राष्ट्रीय कामगार सेना के पांच सदस्य चुन कर आए थे. जिसके कारण गोल्डन फाईबर कंपनी के मुख्य प्रवेशव्दार से कुछ दुरी पर कामगार सेना का फलक लगाया गया था. इस स्थान पर परप्रांतिय अधिकारी रावत व प्रसाद इन दोनों ही अधिकारियों ने स्थानीय मराठी मजदुरों को छटनी करने व मानसिक तकलीफ देकर काम से कम करने का प्रयास किया. जिसके चलते अधिकारियों की मनमानी से परेशान होकर मजदुरों ने एकता का प्रदर्शन दिखाया. जिसके कारण रावत व प्रसाद ने कर्मचारियों ने कर्मचारियों को परेशान करने के लिए 29 मई को राष्ट्रीय कामगार सेना का फलक तोड कर फेक दिया. इन दोनों घटना की जानकारी राष्ट्रीय कामगार सेना के राज्य सचिव वेदांत तालान, उपसचिव महेंद्र गाडे, जिला सचिव प्रफफुल तायडे, शिवसेना महानगर अध्यक्ष संतोष बद्रे को मिलते ही उन्होनें मजदुरों के साथ मिल कर गोल्डन फाईबर में जाकर अधिकारियों से बाच की. इस समय मजदुरों के आक्रमक होने की जानकारी पुलिस को मिलते ही पुलिस उपायुक्त सागर पाटील अपने दल बल के साथ घटना स्थल पर पहुंचे तथा यहां मजदुरों व अधिकारियों को समझाकर मामले को शांत किया. अधिकारियों व्दारा निकल कर फेकें गए फलक को दोबारा उसी स्थान पर लगाने के निर्देश उपायुक्त सागर पाटील ने दिए व इस समस्या का हल निकालने हेतु सोमवार को कामगार आयुक्त कार्यालय में बैठक आयोजित किए जाने का आश्वासन पुलिस अधिकारी ने मजदुरों को दिया. इस समय शिवसेना व राष्ट्रीय कामगार सेना के पदाधिकारी व सैकडो मजदुर उपस्थित थे.

 

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