अमरावती

सुंदर आयोजन का भव्य समापन

‘नानीबाईरा मायरारी ठाकुरजी ने लाज’

* माहेश्वरी भवन में साकार हुआ जूनागढ़
लक्ष्मीनारायण शास्त्री की मधुर वाणी
अमरावती/दि.7- श्री माहेश्वरी पंचायत अंतर्गत महिला मंडल व्दारा आयोजित नानाबाई का मायरा त्रिदिवसीय सुंदर, भक्तिपूर्ण कथा के तीसरे तथा अंतिम दिन बुधवार को बडे उत्साहपूर्ण वातावरण में धनराजलेन स्थित श्री माहेश्वरी भवन में जब मायरा भरने के लिए भगवान कृष्ण स्वयं रूख्मिणी को लेकर पहुंचने का प्रसंग बताया गया. भगवान द्वारा लायी गई नानाविध सामग्री का बखान पूज्य कथा प्रवक्ता ने किया. हर कोई सुनकर और देखकर दत्तचित्त हो गया था. महिला भाविकों की आंखें छलछला आई थी. ऐसे ही सजीव झांकियों ने उपस्थित सैकडों भक्तों को मंत्रमुग्ध कर दिया था. पूज्य कथा प्रवक्ता लक्ष्मीनारायण जी शास्त्री सुंदर और संगीतमय विवेचन कर रहे हैं.
ेेेैेकथा की प्रमुख यजमान श्रीमती उषा विवेक रमेशचंद्र करवा, सीमा सतीश सारडा यवतमाल और अमरावती के जुगलकिशोर गट्टाणी हैं. राजेंद्र निखिल गट्टाणी, पंचायत के सरपंच प्रा. जगदीश कलंत्री, सचिव नंदकिशोर राठी, प्रसिद्ध उद्यमी दीपक अशोक हेडा, सुषमा कमलकिशोर मालानी की उपस्थिति रही. ऐसे ही आज कथा के आरंभ में पवन जाजोदिया, शिवरतन सोनी, रानी करवा ने पूज्य प्रवक्ता और कथा का पूजन एवं आरती की.
कथा आरंभ करते हुए शास्त्रीजी ने भक्तराज नरसी मेहता की बेटी नानीबाई के यहां मायरा अर्थात भात भरने के लिए भगवान कृष्ण के पधारने का प्रसंग कथा में जीवंत किया गया. खचाखच भरे माहेश्वरी भवन में बेशक महिलाओं की संख्या अधिक रही. वहीं सुंदर आयोजन का भी अनुभव श्रद्धालुओं ने किया. महिला मंडल अध्यक्ष रानी करवा, सचिव पूजा तापडिया, कोषाध्यक्ष कृष्ण राठी, सरिता सोनी, चमक अटल, रश्मी नावंदर, सुनीता सोनी, सुरेश साबू, आशा लढ्ढा, शशी मूूंधडा, संध्या केला, शारदा राठी, सरला जाजू, स्वाति धूत, किरण गट्टानी, स्मिता सोमाणी, संजय राठी, विजय चांडक, मालती राठी, शोभा राठी, कविता मोहता, श्यामा लाहोटी, कविता लढ्ढा, साधना राठी, जयश्री लढ्ढा, अंजू गट्टानी, कमल किशोर मालानी, प्रतीक राठी, राजू राठी, भैया मालपाणी, गोपाल बंग, पराग चांडक, संजय काकाणी, महेश राठी, रामकिशोर सोनी, शिवरतन सोनी, उमेश पनपालिया, नितिन सारडा, केशरीमल झंवर, विजय भूतड़ा, मुन्ना राठी, पदमा झंवर सहित सभी की उत्साहपूर्ण उपस्थिति रही. त्रीदिवसीय आयोजन की सभी ने मुक्तकंठ से प्रशंसा की. सुंदर व्यासपीठ के साथ ही पूरा आयोजन संस्मरणीय बन गया था.

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