ग्रापं कम्प्यूटर ऑपरेटरों ने वृध्दिगत वेतन लेने से किया इनकार
गुट विकास अधिकारी को दिया निवेदन
चांदुर रेल्वे प्रतिनिधि/दि.29 – ग्राम पंचायत में कार्यरत कम्प्यूटर ऑपरेटरों को सरकार की ओर से 1 हजार रूपये वेतन बढाकर दिया गया है. लेकिन कम्प्यूटर ऑपरेटरों ने वेतन बढोतरी नहीं देने की बात कहते हुए नियमित रूप से वेतन देने की मांग को लेकर गुट विकास अधिकारी को निवेदन दिया गया.
निवेदन में बताया गया कि राज्य की ग्राम पंचायतों में कम्प्यूटर ऑपरेटर काम कर रहे है. कोरोना के दौर में कर्ज लेकर कम्प्यूटर ऑपरेटरों ने अपने परिवार का भरण पोषण किया. राज्य में लगभग 2 हजार कम्प्यूअर ऑपरेटर, ग्राम पंचायतों में कार्यरत है. वर्ष 2011 में उनकी संग्राम अंतर्गत नियुक्ति की गई थी. लेकिन बाद में वर्ष 2016 में कम्प्यूटर आपरेटरों को आपले सरकार सेवा केन्द्र अंतगर्त केन्द्र संचालक का पद देकर नियुक्ति दी गई. सरकारी निर्णय के तहत एक केन्द्र संचालक को 6 हजार रूपये प्रतिमाह, स्टेशनरी के लिए 2700 रूपये, प्रशिक्षण के लिए 1300 रूपये, कंपनी प्रबंधन शुल्क के नाम पर 450 रूपये व सेवा कर के नाम पर 1800 रूपये, ऐसे कुल 12 हजार 250 रूपये कंपनी लेती है. इसके लिए ग्राम पंचायत को सालाना 1 लाख 47 हजार रूपये कंपनी देती है. जिसमें से नियमित केन्द्र चालको का वेतन देना अपेक्षित होने पर भी टीडीएस के नाम पर 6 हजार रूपये की रकम कंपनी की ओर से काटी जा रही है. इतने अल्प वेतन में कम्प्यूटर ऑपरेटर काम कर रहे है. ऐसे में कम्प्यूटर ऑपरेटरों के जख्म पर नमक छिडकने का काम सरकार की ओर से किया गया है. नियमित रूप से मानधन न देते हुए 1 हजार रूपये की बढोत्तरी वेतन में करते हुए सरकार क्या साध्य करना चाहती यह समझ से परे है. इसलिए ग्राम पंचायत कम्प्यूटर ऑपरेटरों ने 1 हजार रूपये की बढोतरी लेने से साफ तौर पर इनकार किया है. निवेदन सौंपते समय सचिन पाटिल, मंजूषा देशमुख, मयूरी ठाकरे, प्रीती नखाते, वैभव जलीत, आशीष चौधरी, अक्षय गडलिंग, रतन पारवे, विशाल खंडारे, सूरज सरोदे, तुकाराम पांडव, संदीप किन्हीकर, गोपाल घाटोल व अन्य परिचालक उपस्थित थे.