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6 माह में 8 हजार गहनों को हॉलमार्क

श्री खंडोबा एनालाइजर के हनुमान शिंदे ने बताया

* तेजी से बढ रही जागरूकता
अमरावती/ दि. 18-केंद्र सरकार ने सोने के आभूषणों पर हॉलमार्क अनिवार्य कर दिया है. लोगों में भी जागरूकता बढ रही है. व्यापारी वर्ग अमरावती में निर्मित गहनों पर हॉलमार्क लगवा रहे हैं. मोेटे तौर पर गत 6 माह में 8 हजार गहनों का एनालाइज कर उन्हें प्रक्रिया के तहत हॉलमार्क लगाया गया है. सरकार द्बारा बीआईएस का लाइसेंस नि:शुल्क कर देने से भी बडा अंतर आया है. दिनों दिन काम बढ रहा है. सेंटर की संख्या गत 4 माह में ही बढकर 126 से 256 हो गई है. यह जानकारी आज दोपहर अमरावती मंडल को जिले के एकमात्र हॉलमार्क सेंटर के संचालक हनुमान शिंदे तथा नितिन गवई ने दी.
* जेवर परीक्षण 24 घंटे में
उन्होने जेवर में कितने प्रतिशत सोना है, इसकी एनालाइज और हॉलमार्क की संपूर्ण प्रक्रिया भी बताई. पूरी प्रक्रिया ऑनलाइन पध्दति से होती है. इसलिए जेवर परीक्षण के लिए आने के 24 घंटे संपूर्ण प्रक्रिया को लगते हैं. 18 कैरेट, 20 कैरेट और 22 कैरेट के मार्किंग तथा उसका बकायदा बीआईएस नंबर जेवर पर अंकित होता है. बीआइ र्एस का लोगो भी रहता है.
* उपभोक्ता का फायदा
हनुमान शिंदे ने बताया कि हॉलमार्क लगा आभूषण खरीदना उपभोक्ता के लिए लाभप्रद रहेगा. कोई उन्हेंं फंसा नहीं सकेगा. उपभोक्ताओं की जागृति के कारण ही बीआईएस लाया गया है. शीघ्र ही इसे अनिवार्य किया जाना है. गत 1 अप्रैल से अनिवार्य करने की घोषणा हुई थी. मगर अभी तीन माह का और समय दिया गया है.
* पूरे जिले से आते हैं स्वर्णकार
अमरावती में एकमात्र बीआईएस केंद्र होने से जिले के सभी स्वर्णकार और व्यापारी जेवर पर हॉलमार्क के लिए आने की जानकारी नितिन गवई ने दी. उन्होंने बताया कि कभी दिनभर में 50 आर्टीकल आ जाते हैं. कभी पूरा दिन खाली जाता है. प्रमुख ज्वेलर्स के यहां से तैयार जेवर आते हैं. पूरा लॉट एनालाइज किया जाता है. फिर ऑनलाइन प्रक्रिया से हॉलमार्क मिलता है और वह आर्टीकल पर लगाया जाता है. उन्होंने बताया कि दो ग्राम से अधिक वजन के प्रत्येक आर्टीकल के लिए हॉलमार्क आवश्यक किया गया है.
* 11 लोगों का स्टाफ
गवई के अनुसार हॉलमार्क की प्रक्रिया बडी है. इसमें केमिकल एनालिस्ट की आवश्यकता होती है. उनके केेंद्र में 11 लोगों का स्टाफ है. कभी इतना काम आ जाता है कि यह स्टाफ भी कम पडता है. वही कुछ समय ऐसा भी रहता है कि काम नहीं होता. फिर भी अमरावती में अपेक्षाकृत अच्छा रिस्पॉन्स है. ग्राहकों में भी हॉलमार्क को लेकर जागरूकता बढी है. जिससे व्यापारी वर्ग भी बीआईएस का लाइसेंस बनवा रहे हैं. गवई ने बताया कि लाइसेंस के बगैर हॉलमार्क सिस्टम जेवर का परीक्षण नहीं लेता और उसका नंबर भी जारी नहीं होता.

* तगडी सुरक्षा व्यवस्था
मच्छीसाथ स्थित श्री खंडोबा बीआईएस केंद्र में सुरक्षा व्यवस्था तगडी है. कम्प्यूटर सिस्टम आधारित डोर लॉकिंग, सीसीटीवी के साथ ही 24 घंटे सुरक्षा गार्ड तैनात रहने की जानकारी दी गई.

* 53 रूपए 10 पैसे शुल्क
प्रत्येक आभूषण का हॉलमार्क का शुल्क 53 रूपए 10 पैसे है. जिसमें 45 रूपए हॉलमार्क केंद्र तथा 8 रूपए 10 पैसे जीएसटी शामिल है. एक भी आर्टीकल फेल हुआ तो पूरा लॉट लौटाया जाता है.

 

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