रात सवा 9 बजे मराठी विभाग के सामने कर रहा था विचरण
विद्यापीठ में दिखाई दिया बाघ
* मची खलबली और दहशत
* वन महकमे को सूचित किया
* कुछ दिन पहले तेंदुए के शावक को बचाया गया था
अमरावती/ दि. 9- संत गाडगेबाबा अमरावती विश्वविद्यालय परिसर में वन्यजीव विचरण कर रहे हैं. हाल ही में तेंदुए के एक शावक को वहां बचाया गया था. अब खबर है कि गत रात ठीक सवा 9 बजे मराठी विभाग भवन के सामने साक्षात बाघ वहां विचरण कर रहा था. जिसके बाद विवि में खलबली मची है. वहां के कर्मचारी और अधिकारी भयभीत हो गये हैं. वन महकमे को खबर दी गई. पहाडी क्षेत्र में बसें विद्यापीठ परिसर में पुन: बाघ दिखाई देने से सभी प्रकार की सावधानी बरती जा रही है.
सूत्रों ने बताया कि विद्यापीठ परिसर के अंग्रेजी विभाग भवन के सामने सडक पर बडा बाघ नजर आया. वह शांति से अपनी राह चला गया. उसने आगे बढकर मुडकर अपनी राह ली. इधर मराठी विभाग भवन के दो सुरक्षा गार्ड ने उक्त बाघ को देखने की चर्चा है.
* मराठी भवन में घंटों कैद
विद्यापीठ क्षेत्र में कई बार तेंदुआ नजर आया है. किंतु बाघ भी दिखाई देने से अब तो सुरक्षा गार्ड भी घबरा उठे हैं. बताया जाता है कि जिस समय यह बाघ दिखाई दिया. उस समय मराठी विभाग के भवन में आंबेडकर थॉट्स कोर्स की कक्षा शुरू थी. परिसर में बाघ दिखाई देने से कोर्स के विद्यार्थियों और प्राध्यापकों को काफी देर तक मराठी विभाग भवन में रोके रखा गया था.
* कुलगुरू और कुलसचिव पहुंचे
विद्यापीठ क्षेत्र में बाघ दिखाई देने खबर से खलबली मची. कुलगुरू डॉ. मिलिंद बारहाते परिसर में ही निवास करते हैं. वे रात में ही मराठी विभाग की इमारत के सामने पहुंचे. कुछ देर बाद कुल सचिव डॉ. अविनाश असनारे भी विद्यापीठ में मुस्तैद सुरक्षा गार्ड भी मराठी विभाग भवन के सामने आ गये थे. आंबेडकर थॉटस कोर्स के विद्यार्थियों को सुरक्षित रूप से विद्यापीठ के बाहर निकाला गया. इसके बाद सारी रात सुरक्षा गार्ड एवी थियेटर में रूके रहे. उन्हें इस प्रकार के निर्देश दिए गये थे.
* हां दिखाई दिया बाघ
कुल सचिव डॉ. असनारे ने इस प्रकार की घटना की पुष्टि करते हुए बताया कि गत रात उन्हें विद्यापीठ क्षेत्र में बाघ आने की खबर मिली. वे और कुलगुरू तुरंत वहां पहुंचे. डॉ. असनारे ने यह भी कहा कि विश्वविद्यालय परिसर में तेंदुए कई बार नजर आए है. अब सुरक्षा गार्ड ने प्रत्यक्ष बाघ देखा है. उन्होंने कहा कि गार्ड ने जोर देकर कहा कि उसने जो जानवर देखा वह बाघ ही था. अत्यंत बारीकी से उसने बाघ को देखने की पुष्टि करने पश्चात वन महकमे को जानकारी दी गई. महकमे ने चौकन्ना रहने कहा है.
* रोकी गई सुबह की सैर
विद्यापीठ परिसर में निसर्गरम्य वातावरण होने से सैकडों लोग मार्निग वॉक के लिए यहां आते हैं. उन्हें आज विद्यापीठ से बाहर ही रोका गया. प्रत्येक को सावधानी रखने कहा गया है. इस प्रकार की जानकारी कुलसचिव डॉ. असनारे ने दी. कुछ रोज पहले ही विश्वविद्यालय के यूजीसी गेस्ट हाउस से सटी इमारत के पास छिपकर बैैठे तेंदुए के शावक बचाए गये थे. यह घटना गत 24 दिसंबर की है. उधर वन विभाग के अधिकारियों ने कहा कि विश्वविद्यालय परिसर का अवलेाकन किया गया है. वहां बराबर निगरानी की जा रही है. एक कर्मचारी ने बताया कि जंगली क्षेत्र नजदीक होने से बाघ घूमते आ गया हो.