अमरावती

सुरक्षा के साधन नहीं मिलने से सफाई कर्मियों का स्वास्थ्य खतरे में

1800 स्थायी व ठेका नियुक्त सफाई कर्मियों और शहर की सफाई का जिम्मा

* मनपा प्रशासन ने सफाई कर्मियों को सुरक्षा कीट देने का किया दांवा
अमरावती /दि.27– शहर में नागरिकों का स्वास्थ्य सुरक्षित रहे इस हेतु मनपा के सफाई कर्मी अपने स्वास्थ्य को खतरे में डालकर शहर के साफ-सफाई की जिम्मेदारी को पूरा करते है. परंतु यह काम करते समय आवश्यक रहने वाले सुरक्षा साधन उन्हें उपलब्ध नहीं कराए जाते और सुरक्षा कीट के बिना शहर की गंदगी को साफ करने के साथ ही कचरा संकलन का काम करने की वजह से सफाई कर्मियों का स्वास्थ्य खतरे में पडता दिखाई दे रहा है. जिसे लेकर सफाई कर्मियों के साथ-साथ कामगार युनियन ने भी नाराजगी व चिंता जताई है. कामगार यूनियन का कहना है कि, विगत 5-6 वर्षों से सफाई कामगारों को सुरक्षा कीट नहीं मिली है. वहीं दूसरी ओर मनपा प्रशासन द्वारा दांवा किया जा रहा है कि, सफाई कर्मचारियों को नियमित तौर पर सुरक्षा कीट उपलब्ध कराई जाती है.
बता दें कि, रोजाना सुबह से ही सफाई का जिम्मा उठाने वाले सफाई कामगार शहर के प्रत्येक प्रभाग में घर-घर जाकर कचरा संकलन का काम करते है और कचरे का अलग-अलग वर्गीकरण करते हुए उसे ढोकर ले जाते है. साथ ही इन्हीं सफाई कर्मियों द्वारा शहर की सडकों एवं कचरे से भरी नालियों की साफ-सफाई का भी काम किया जाता है. मनपा में कुल 1 हजार 800 स्थायी एवं ठेका नियुक्त सफाई कर्मचारी है. जिन पर पूरे शहर की साफ-सफाई का जिम्मा होता है और इन कर्मचारियों का कहना है कि, उन्हें विगत 5 से 6 वर्षों से सुरक्षा साधन ही नहीं दिए गए.

* क्या कहता है नियम?
सफाई कर्मचारियों को हाथ मोजे (दस्ताने), साबून, गमबूट, मास्क, हेडकैप व सैनिटाइजर सहित सर्दियों के मौसम में स्वेटर तथा बारिश के सीजन में रेनकोट व छाता देना जरुरी होता है. साथ ही प्रत्येक सफाई कर्मी को सुरक्षा साधन देना अनिवार्य है. किंतु शहर के अधिकांश सफाई कर्मचारियों ने अब तक ऐसी सुरक्षा कीट को अपनी आंखों से देखा तक नहीं है.

* रोजाना 200 से 250 टन कचरे का संकलन
शहर के विभिन्न इलाकों से रोजाना 200 से 250 टन कचरे का संकलन कर सफाई कर्मचारियों द्वारा उसका वर्गीकरण किया जाता है. साथ ही विभिन्न प्रभागों से संकलित किए गए कचरे को सुकली व अकोली कंपोस्ट डिपो में भेजा जाता है.

* आवश्यक निर्देश होंगे जारी
मैं कुछ दिन पहले ही यहां पर नियुक्त हुआ हूं और मेरी जानकारी के हिसाब से सफाई कामगारों को नियमित तौर पर सुरक्षा सहित्य उपलब्ध कराए जाते है. इस बारे में आवश्यक पडताल करते हुए संबंधित ठेकेदारों को जरुरी निर्देश दिए जाएंगे.

* बैठक में मुद्दा रखने के बावजूद अब तक नहीं मिली किट
सफाई कामगारों को सुरक्षा किट उपलब्ध कराने हेतु मनपा प्रशासन से कई बार मांग की जा चुकी है. जिसे अनदेखा व अनसुना किया जा रहा है. पिछली माह हुई बैठक में यह बात मनपा आयुक्त के ध्यान में लाकर दी थी. परंतु उस पर अब तक अमल नहीं हुआ है. सुरक्षा साहित्य के अभाव में साफ-सफाई का काम करने वाले सफाई कामगारों का स्वास्थ्य खतरे में कहा जा सकता है
– गणेश तंबोले,
महासचिव, मनपा सफाई

* 5-6 साल से नहीं दी गई सुरक्षा किट
मनपा प्रशासन द्वारा सफाई कामगारों को नियमित रुप से सुरक्षा सहित उपलब्ध कराए जाने के संदर्भ में किए गए दांवे को मनपा सफाई कामगार यूनियन के महासचिव गणेश तंबोले ने खारिज करते हुए बताया कि, विगत 5-6 वर्ष से कर्मचारियों को कोई सुरक्षा साहित्य उपलब्ध नहीं कराया गया है. सुरक्षा किट तो दूर साबून और सैनिटााइजर भी नहीं दिया जाता है. जिसके चलते कर्मचारियों को स्वास्थ्य से संबंधित विभिन्न समस्याओं का सामना करना पडता है. ऐसे में अत्यल्प वेतन पर काम करने वाले स्वास्थ्य कर्मी अपने स्वास्थ्य की ओर ध्यान देंगे, या परिवार का खर्च चलाएंगे. यह अपने आप में सबसे बडा सवाल है. अत: स्वास्थ्य कर्मियों को तत्काल ही सुरक्षा साहित्य उपलब्ध कराया जाना चाहिए.

* सुरक्षा किट देना है अनिवार्य
नियमानुसार प्रत्येक सफाई कर्मचारी को सुरक्षा साहित्य देना अनिवार्य व बंधनकारक है. जिसमेें ग्लोज, मास्क, गमबूट, कैप, सैनिटाइजर, हेल्मेट व साबून का समावेश होता है. परंतु अमरावती शहर में साफ-सफाई का काम करने वाले सफाई कर्मियों के पास हैंडग्लोज तक दिखाई नहीं देते.

* एक दिवसीय शिविर से कैसे होगी स्वास्थ्य सुरक्षा
रोजाना सुबह से शहर की साफ-सफाई करने वाले सफाई कर्मियों का स्वास्थ्य अबाधित रहे, इस हेतु विगत तीन वर्षों से प्रतिवर्ष ही मनपा द्वारा सफाई कर्मियों के लिए स्वास्थ्य शिविर का आयोजन किया जाता है. ऐसे में पूरे साल भर बिना सुरक्षा किट के काम करने वाले सफाई कर्मियों के स्वास्थ्य की रक्षा केवल एक दिन के शिविर से कैसे हो सकती है, ऐसा सवाल भी सफाई कर्मियों द्वारा पूछा जा रहा है.

* दमा सहित त्वचा विकारों की समस्या
सफाई कर्मियों द्वारा इस संदर्भ में दी गई प्रतिक्रिया में बताया गया है कि, उन्हें मनपा की ओर से कोई सुरक्षा साहित्य उपलब्ध नहीं करवाया जाता. जिसके चलते उनके स्वास्थ्य के लिए खतरा पैदा हो जाता है और बिना सुरक्षा साहित्य के गंदगी में उतरने की वजह से उन्हें दमा सहित त्वचा संंबंधित विविध बीमारियों का सामना करना पडता है.

* शहर में रोजाना जगह-जगह पर सफाई कर्मचारी सुरक्षा संबंधित किसी भी साहित्य का प्रयोग किए बिना काम करते दिखाई देते है. जिससे उनका स्वास्थ्य खतरे में पडा दिखाई देता है.

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