अमरावती

10 वीं की परीक्षा रद्द होने से 11 वीं में कैसे प्रवेश होगा?

पालक और विद्यार्थियों का सवाल

अमरावती/दि.27 – सीबीएसई के साथ साथ महाराष्ट्र बोर्ड ने भी 10 वीं की परीक्षा रद्द करने का निर्णय लिया है. किंतु ये परीक्षा रद्द होने के कारण 11 वीं तथा तकनीकी शिक्षा, आयटीआय के प्रवेश कैसे होंगे ? ऐसा सवाल पालक व विद्यार्थियों के समक्ष उपस्थित हुआ है.
बच्चों ने ऑनलाईन क्लास गंभीरता से नही की. ऑनलाईन क्लास में बच्चों को क्या ज्ञान प्राप्त हुआ, इसका मूल्य मापन करने के लिए तो भी परीक्षा ली जाए, ऐसी भूमिका इन क्षेत्रों के विशेषज्ञों की थी. ये परीक्षा कम अंको की तथा ऑनलाईन ली जाए, ऐसा पर्याय भी सुझाया गया था. इसी दौरान शासन की ओर से पहली से 9 वीं तक के विद्यार्थियों को औसत रूप से अगली कक्षा में प्रवेश देने की घोषणा की गई. किंतु 10 वीं व 12 वीं की परीक्षा लेने के लिए शिक्षा मंंडल की ओर से पूरी तरह प्रयास किए गये. लेकिन फिलहाल राज्य में कोरोना का भयंकर रूप देखने को मिल रहा है. अभी और कितने दिनों तक यह स्थिति रहेगी? कहा नहीं जा सकता. इसके कारण राज्य बोर्ड की ओर से 10 वीं की परीक्षा रद्द किए जाने की घोषणा की गई. फलस्वरूप पिछले डेढ़ वर्षो से 10 वीं बोर्ड की परीक्षा का बोझ उठाने वाले विद्यार्थियों और पालको ने राहत की सांस ली है. किंतु 10 वीं की परीक्षा शैक्षणिक कालखंड का महत्वपूर्ण चरण माना जाता है. इस समय बच्चों का मूल्यमापन होना आवश्यक होता है. जिसके कारण परीक्षा रद्द करने की नीति का दुष्परिणाम इस पीढी पर होने की संभावना व्यक्त की जा रही है. फिर भी परीक्षा रद्द करने के निर्णय का पालको ने स्वागत किया है. लेकिन परीक्षा रद्द होने के कारण 10 वीं के बाद की अगली कक्षा में प्रवेश के निकष क्या होंगे? यह प्रश्न उपस्थित होता हैे.

कौन से है प्रवेश निकष ?

10 वीं की कक्षा में मूल्यमापन न होने के कारण 11 वीं के प्रवेश में अनेक अडचने आ सकती है. विशेष रूप से विज्ञान शाखा में प्रवेश लेनेवाले विद्यार्थियों की संख्या अधिक होती है. इन विद्यार्थियों को कौन से निकर्षो पर प्रवेश दिया जायेगा. अन्य व्यावसायिक पाठ्यक्रमों में प्रवेश कैसे होेंगे? इन बातों को शीघ्र ही स्पष्ट किया जाए.
– अजय भोंगाडे,
पालक एसबीआई कॉलनी

मूल्यमापन में दोष

कक्षा 10 वीं के विद्यार्थियेां का मूल्यमापन किया जायेगा, ऐसा शिक्षा मंत्री ने घोषित किया है. मात्र इसमें पास का दूर का, पसंद का-नापसंद का विद्यार्थी ऐसे प्रकार होने की संभावना . इसके अलावा कोरोना काल में पालको को शाला की फीस भरना संभव नहीं हुआ. इस बात का परिणाम भी अंकों पर नहीं होगा इसकी क्या गारंटी है?
– देवेन्द्र पाटिल,
पालकदीप नगर क्र.3

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