अमरावतीमहाराष्ट्र

हत्यारोपी को उम्रकैद की सजा

10 साल तक फरार था आरोपी

* अपने ही दोस्त को उतारा था मौत के घाट
अमरावती /दि.25– छोटी सी बात को लेकर हुए विवाद के चलते अपने साथ ही काम करने वाले अपने दोस्त को मौत के घाट उतारने वाले राजपाल सोनाजी कास्देकर (22, चौराकुंड, तह. धारणी) नामक आरोपी को दोषी करार देते हुए अदालत ने उसे आजीवन कारावास की सजा सुनाई.
जानकारी के मुताबिक यह घटना 6 जून 2012 की है. जब राजपाल कास्देकर ने अपने ही दोस्त सोहनलाल कास्देकर की निर्ममतापूर्वक हत्या कर दी थी और फिर वह करीब 10 वर्ष तक फरार रहा. जिसे वर्ष 2022 में गिरफ्तार किया गया था. जार्चशीट के मुताबिक धारणी तहसील में रहने वाला सोहनलाल कास्देकर अपने ही गांव व परिसर में रहने वाले कालू हरी ठाकरे, सुशिल हिरामन भिलावेकर व पंजू रामलाल जावरकर के साथ एमआईडीसी स्थित रवि एग्रोसिड्स नामक कंपनी में काम किया करता था. वहीं राजपाल कास्देकर भी एमआईडीसी में ही स्थित एक अन्य कंपनी में काम करता था. एक ही गांव से वास्ता रहने के चलते राजपाल कास्देकर और सोहनलाल कास्देकर एक-दूसरे को पहचानते थे तथा दोनों की कई बार मुलाकात भी हुआ करती थी. 6 जून 2012 को सोहनलाल कास्देकर व राजपाल कास्देकर के बीच बाजार में किसी बात को लेकर झगडा हुआ था, तो राजपाल ने सोहनलाल को देख लेने की धमकी दी थी.

इस समय कालू ठाकरे भी सोहनलाल के साथ था. पश्चात कालू और सोहनलाल अपने घर वापिस लौटे तथा भोजन करने के बाद छत पर सोने चले गये. इस समय पंजू जावरकर व सुशिल भिलावेकर घर के भीतर सोये हुए थे. पश्चात आधी रात को जोरदार आवाज आने की वजह से पंजू और सुशिल की नींद खुली और उन्होंने छत पर जाकर देखा, तो उन्हें राजपाल कास्देकर छत से छलांग मारकर भागता दिखाई दिया. वहीं सोहनलाल खून से लथपथ पडा दिखा. जिसके बाद दोनों ने इसकी जानकारी अपने मकान मालिक को दी और 7 जून को पंजू जावरकर ने राजापेठ पुलिस थाने में शिकायत दर्ज कराई. जिसके आधार पर राजापेठ पुलिस ने हत्या का मामला दर्ज किरते हुए अपनी जांच पूरी की और अदालत में जार्चशीट प्रस्तूत की. लेकिन हत्यारोपी राजपाल कास्देकर घटनावाले दिन से ही फरार था. जिसकी राजापेठ पुलिस द्वारा सरगर्मी से तलाश की जा रही है और उसे करीब 10 साल बाद वर्ष 2022 में गिरफ्तार करते हुए अदालत के समक्ष पेश किया गया.

इस मामले में अभियोजन पक्ष की ओर से अतिरिक्त सरकारी अभियोक्ता एड. सोनाली क्षिरसागर ने फिर्यादी सहित 5 गवाहों के बयान दर्ज कराये और अदालत के समक्ष आरोपी के खिलाफ पूख्ता सबूत पेश करते हुए युक्तिवाद किया. जिसे ग्राह्य मानते हुए जिला व सत्र न्यायाधीश एचएल मनवर की अदालत में आरोपी राजपाल कास्देकर को सोहनलाल कास्देकर की हत्या का दोषी ठहराते हुए आजीवन कारावास व 4 हजार रुपए के जुर्माने की सजा सुनाई. जुर्माना अदा नहीं करने पर आरोपी को 6 माह का अतिरिक्त कारावास भुगतना होगा.

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